हर वर्ष श्राद्ध पक्ष की समाप्ति के बाद नवरात्रि अश्विन माह में ही प्रारंभ होती है परंतु इस बार अश्विन मास में मलमास लगने के कारण 1 महीने के अंतर पर नवरात्रि आरंभ होगी। ऐसा संयोग करीब 165 साल बाद होने जा रहा है। श्राद्ध पक्ष 2 सितंबर से प्रारंभ हुए थे जो 17 सितंबर 2020 को समाप्त हुए। नियम अनुसार 18 सितंबर से नवरात्रि का प्रारंभ होना था परंतु इस दिन से पुरुषोत्तम मास प्रारंभ हो चुका है।
आश्विन महीने में अधिक मास, मलमास या पुरुषोत्तम मास 18 सितंबर से शुरू होकर 16 अक्टूबर तक चलेगा। यही कारण है कि इस बार आश्विन माह की शारदीय नरात्रि का प्रारंभ 17 अक्टूबर से होगा और समाप्ति 25 अक्टूबर को होगी। 26 अक्टूबर को दशहरा होगा। इसके 20 दिन बाद अर्थात 14 नवंबर 2020 को दीपावली रहेगी।
खास बात यह है कि पुरुषोत्तम माह जुड़ जाने के कारण इस वर्ष चातुर्मास भी चार की जगह पांच माह का हो गया है और एकादशियां 24 की जगह 26 रहेंगी। अश्विन माह इस बार 3 सितंबर से 31 अक्टूबर तक होगा। यह अवधि 59 दिनों की होगी। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार जिस माह में सूर्य संक्रांति नहीं होती, उसमें अधिक मास जुड़ जाता है। पुरुषोत्तम माह 32 माह 16 दिन 4 घंटे बीतने के बाद आता है।