इस मंदिर में वैसे तो पूरे वर्षभर भक्तों का जमावड़ा लगा रहता है लेकिन शिवरात्रि, श्रावण मास और अधिकमास में मन्नत पूरी होने की आस लेकर आने वाले श्रद्धालुओं की बड़ी संख्या में भीड़ उमड़ पड़ती है। इस मंदिर के बारे में मान्यता है कि यहां शिवलिंग स्वयंभू है। अधिकमास में यहां एक महीने मेला जैसा रहता है।
लोगों की मान्यता है कि जो भी भक्त सच्चे मन से यहां अपनी मन्नत मांगता है, वह पूरी जरूर होती है। यहां पूजा-अर्चना करने वाले की मन्नत पूरी होने के साथ ही उसकी उम्र भी लंबी हो जाती है तथा उसकी अकाल मृत्यु नहीं होती है।