चुनौती से निबटने में सक्षम:प्रणब

सोमवार, 8 अगस्त 2011 (14:57 IST)
अमेरिकी क्रेडिट रेटिंग घटाने के कारण दुनिया भर के शेयर बाजार में भारी गिरावट और आर्थिक मंदी के आशंका के बीच वित्त मंत्री प्रणब मुखर्जी ने सोमवार को स्वीकार किया कि इन घटनाओं का भारत पर कुछ प्रभाव पड़ सकता है, लेकिन साथ ही आश्वासन दिया कि देश इन चुनौतियों से निपटने में सक्षम है।

प्रणब ने संसद भवन परिसर में संवाददाताओं से कहा कि इस विषय पर समूह 20 देशों के वित्त मंत्रियों और सरकार के साथ बातचीत हुई है। हम विभिन्न देशों की सरकारों के साथ भी सम्पर्क बनाए हुए हैं।

उन्होंने कहा कि अमेरिका में हाल की घटनाओं के कारण वैश्विक बाजार में कुछ अनिश्चितता उत्पन्न हुई है, 'इन घटनाओं का भारत पर कुछ प्रभाव पड़ सकता है।' वित्त मंत्री ने कहा कि लेकिन भारत के विकास अप्रभावित है और इसकी बुनियाद मजबूत है। इन चुनौतियों से निपटने के संबंध में हम दुनिया के कई अन्य देशों से बेहतर स्थिति में हैं।

प्रणब ने कहा कि पूंजी और कारोबार के प्रवाह में कुछ प्रभाव पड़ सकता है, लेकिन भारत के विकास की कहानी पर नजर डालें तो पाते हैं कि विदेशी संस्थागत निवेश (एफआईआई) के लिए भारत आकर्षक स्थल है।

भारत पर अमेरिकी घटनाओं का प्रभाव पड़ने की आशंका को निर्मूल बताते हुए प्रणब ने कहा कि अगर हम 2008 से तुलना करते हैं तो विदेशी संस्थागत निवेशक अधिक और तेजी से आ रहे हैं। हमारे संस्थान मजबूत है और वर्तमान स्थिति के संबंध में हम किसी तरह की चिंताओं को दूर करने में सक्षम हैं।

मुद्रास्फीति का उल्लेख करते हुए वित्त मंत्री ने कहा कि अंतरराष्ट्रीय जिंस के मूल्यों विशेष तौर पर ईधन की कीमतें बढ़ने से अर्थव्यवस्था पर मुद्रास्फीति संबंधी दबाव पर लगाम लगाने में मदद मिलेगी। इससे वित्त वर्ष 2011.12 में राजकोषीय संतुलन बनाये रखने में भी मदद मिलेगी।

प्रणव ने कहा कि मैं इस बात को दोहराना चाहता हूं कि हमारी अर्थव्यवस्था की बुनियाद मजबूत है और हम घरेलू खपत को प्रोत्साहित करना चाहते हैं ताकि घरेलू स्तर पर विकास पर बल दिया जा सके। उन्होंने कहा कि सरकार लंबित सुधार कार्यक्रमों को आगे बढ़ाने में तेजी लाने के साथ अंतरराष्ट्रीय घटनाक्रमों पर भी नजर रखे हुए है। (भाषा)

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