ऐसे करें पूजन :- प्रातः स्नानादि के उपरांत देव, पितृ आदि तर्पण के बाद कुशाओं की भद्रा की मूर्ति बनाएं और पुष्प, धूप, दीप, गंध, नैवेद्य आदि से उसकी पूजा करें, फिर भद्रा के
12 नामों से हवन में 108 आहुतियां देने के पश्चात तिल और खीरादि सहित ब्राह्मण को भोजन कराकर स्वयं भी मौन होकर तिल मिश्रित कुशरान्न का अल्प भोजन करना चाहिए।