Exclusive Interview: मैं ऐसी फिल्में करती हूं जो होने वाले बच्चों को दिखा सकूं- तापसी पन्नू

रूना आशीष
'मैंने तो अपने करियर में कई फिल्में इसीलिए की हैं कि मैं अपने बच्चों को ये फिल्म दिखा सकूं। अब मेरा साथी कौन होगा? ये मुझे नहीं मालूम। मेरे बच्चे कब होंगे और कितने होंगे? ये मैं नहीं जानती। लेकिन एक बात तो तय है कि जब भी बच्चा हुआ, तो मैं उसके सामने एक-एक करके अपनी कुछ सारी फिल्में दिखा दूंगी और कहूंगी कि देख तेरी मां ने ऐसी फिल्में की हुई हैं। मैं कुछ फिल्में करती ही इसलिए हूं कि वे फिल्मोग्राफी में रहें ताकि एक दिन बच्चों को दिखाई जा सकें।'


तापसी पन्नू की ये बातें सुनकर आप सोच सकते हैं कि तापसी बहुत दूर की सोचती हैं या फिर आप कह सकते हैं कि तापसी शायद एक बेहतरीन मां बनने का सपना देखती हैं या कह सकते हैं कि तापसी कहना क्या चाहती हैं? अभी जहां उनकी करियर रफ्तार पकड़े है, तो शादी और बच्चे कहां से आ गए? लेकिन आपके इस कयास से बेखबर तापसी अपनी अगली फिल्म 'मिशन मंगल' के बारे में राय रखती रहेंगी।

तापसी कहती हैं कि अक्षय ने जब 'इस फिल्म में काम करेंगी या नहीं?' पूछने के लिए फोन किया था तो वे बोले थे कि इसमें कई किरदार हैं लेकिन फिल्म अच्छी है। करना चाहोगी तो कहानी सुना देते हैं। मैंने उनसे कहा कि आप इतनी सारी बातें क्यों कर रहे हैं? फिल्म की स्क्रिप्ट सुन लेती हूं फिर बात कर लेंगे।

तापसी ने कहा कि फिर मैंने कहानी सुनी और लगा कि ये फिल्म तो करनी ही है। ये फिल्म अच्छी है। बन जाने के बाद भी अच्छी लग रही है और ये हिट ही होगी, मुझे पूरा कॉन्फिडेंस है। मैंने अक्षय से कहा कि आप तो ये बताइए कि आप इतनी लेट ये फिल्म मेरे पास क्यों लेकर आ रहे हैं?

लोगों का नजरिया बदला है आपको लेकर?
हां, अब एक के बाद एक अच्छी फिल्में होने की वजह से लोगों की सोच बदली है। लोग सोचने लगे हैं कि ये अच्छी फिल्में चुनती है। इस पर भरोसा किया जा सकता है। इसमें ऐसे रोल कर लेने की ताकत है। इन दिनों एक से बढ़कर एक स्क्रिप्ट आ रही हैं और मुझसे अच्छी स्क्रिप्ट को मना नहीं किया जाता तो मैंने सबको हां तो कह दिया है। लेकिन अब यह पता नहीं कि मैं करूंगी कैसे? कहां से डेट्स निकालकर लाऊंगी?

सांड की आंख को दिवाली रिलीज मिल रही है, कोई खास कारण?
जब फिल्म साइन की थी तो सोचा था कि फिल्म चले या न चले, मुझे ये फिल्म करनी है। अगर न भी चले फिल्म तो लोग कह देंगे कि तापसी का काम अच्छा था। फिर फिल्म शूट होना शुरू हुई और जब हम लोगों ने उसके रशेज देखे तो लगा कि ये तो ऐसी फिल्म हो, जो लोग अपने घरवालों के साथ मिलकर देखें तो अच्छा हो। तो हमने फेस्टिव सीजन देखा और दिवाली रिलीज मिल गई। ये फिल्म 60 साल की महिलाओं की है और जब ये बंदूक निकालेंगी तो लोगों की तालियां बजना लाजमी है।

तापसी आगे बताती हैं कि मेरी मां 60 साल की हैं और कोई भी महिला कभी फ्री नहीं होती। शादी के पहले मां-बाप की सुनो, फिर शादी के बाद पति की सुनो। फिर अगर बच्चे हैं तो उनके लिए जियो। 60 साल में जाकर जब वो फ्री हो जाएं तो तब भी तो जीना शुरू कर सकती हैं न अपना मर्जी से? फेस्टिवल सीजन में ये ही बता रहे हैं कि जीवन अपनी मर्जी से जीने के लिए उम्र का 60वां साल भी बुरा नहीं है।

सम्बंधित जानकारी

अगला लेख