डीआरडीओ के कार्यक्रम में वैज्ञानिकों को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा...
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* डीआरडीओ को रोज की जरूरतों पर भी रिसर्च करना चाहिए। * युवा वैज्ञानिकों को मिले पुरे अधिकार। * देश में पांच लैब ऐसी हो जिसमें काम करने वाले सभी लोग 35 साल से कम हो। * मल्टी टैलेंट का उपयोग करने की जरूरत। * वैज्ञानिकों को यूनिवर्सिटीज से जोड़ा जाना चाहिए। * वैज्ञानिकों का छात्रों से भी सीधा संवाद हो। * भारत को वैश्विक नेता बनाने के लिए रक्षा अनुसंधान में सुप्रयोग और तेज गति से काम करने की आवश्यकता है। * सेना की सहुलियत पर सेना को काम करना चाहिए। * वैज्ञानिकों और सेना में सीधा संवाद हो। * तीनों सेनाओं से वैज्ञानिकों का आइडिया लेने की जरूरत। * नए आइडिए के लिए डीआरडीओ को लैब से बाहर निकलने की जरूरत। * जो काम दुनिया 2020 में करें, हम उसे 2018 में ही कर दें। * समय से पहले काम करना हमारे लिए चुनौती। * दुनिया बहुत तेजी से बदल रही है। * क्या किसी जवान ने उस ऋषि को देखा है जिसने वर्षों की तपस्या के बाद उसके लिए हथियार बनाए। * देश के लिए वैज्ञानिकों ने की तपस्या। * पीएम ने वैज्ञानिकों को ऋषि की संज्ञा दी। * मोदी ने किया वैज्ञानिकों का सम्मान।