भोपाल। कोरोनाकाल में मध्यप्रदेश में राजनीतिक दलों के कार्यक्रम और नेताओं के कोरोना प्रोटोकॉल और सोशल डिस्टेंसिंग के नियमों का पालन नहीं किए जाने की वेबदुनिया की खबर का बड़ा असर हुआ है। पिछले एक सप्ताह में बड़ी संख्या में जनप्रतिनिधियों और राजनीतिक दलों से जुड़े लोगों के कोरोना संक्रमण की चपेट में आने के बाद सरकार ने कई बड़े फैसले किए है।
मंत्रियों को मास्क पहनना अनिवार्य - वेबदुनिया की खबर के बाद वीडियो कांफ्रेंस के जरिए की गई कोरोना समीक्षा बैठक में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने सभी मंत्रियों, सांसदों और विधायकों को मास्क या गमछा/ गमछा लगाने को अनिवार्य कर दिया है। समीक्षा बैठक के बाद फैसले की जानकारी देते हुए गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा ने कहा कि मंत्री,विधायकों और सांसदों को मास्क लगाना अनिवार्य होगा नहीं तो उन पर भी जर्माना होगा। मास्क लगाने का नियम मुख्य सचिव से लेकर जिले के कलेक्टर और एसपी समेस सभी अधिकारियों और कर्मचारियों पर लागू होगा। मास्क नहीं लगाने पर अफसरों पर भी जुर्माने की कार्रवाई की जाएगी।
मंत्रियों के दौरे और राजनीतिक कार्यक्रमों पर रोक - इसके साथ सरकार ने 14 अगस्त तक मंत्रियों के दौरे और कार्यक्रम पर रोक लगा दी है। गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा के मुताबिक सरकार ने 14 अगस्त तक किसी भी मंत्री, सांसद और विधायक का सार्वजनिक कार्यक्रम या दौरा करने पर रोक लगा दी है। सरकार ने राजनीतिक दलों से अपील की है कि वह 14 अगस्त तक कोई भी राजनीतिक कार्यक्रम रैली,प्रदर्शन और सभा नहीं करें। इसके साथ प्रदेश में माइक लगाकर किसी भी कार्यक्रम को करने पर 14 अगस्त तक रोक लगा दी है।