सर्दी के मौसम में इंसान की नींद खुलना बड़ी बात होती है। इस मौसम में कितना भी अधिक क्यों नहीं सो जाएं नींद पूरी नहीं होती है। हालांकि 7 घंटे सोना अच्छी बात है लेकिन इससे अधिक सोने पर आपकी सेहत पर ठंड में भी उल्टा असर पड़ता है। देर तक सोने से आपकी पूरी दिनचर्या लेट हो जाती है। वहीं उन्हें मधुमेह या दिल की बीमारी है उन्हें जरूर समय से उठ जाना चाहिए। क्योंकि इससे बीमारी का खतरा बढ़ जाता है। तो आइए जानते हैं सर्दी में इतनी ज्यादा नींद आने की वजह क्या है।
2. धूप - विटामिन डी का सबसे अच्छा स्त्रोत है सूरज। शरीर में इसकी नहीं होने देना चाहिए। ठंड में अगर आप धूप नहीं ले पा रहे हैं तो विटामिन डी के लिए अवाकोड या संतरे का इस्तेमाल करें। इसका सेवन करके शरीर में विटामिन डी की पूर्ति होगी। जिससे आपको भरपूर नींद आएंगी। और नींद पूरी होने के बाद किसी प्रकार का आलसपन या सुस्ती नहीं आएंगी।
3. मूड स्विंग होना - ठंड में मूड स्विंग होना आम बात है। जिस तरह इस मौसम में धूप छांव होता है उसी तरह ठंड के मौसम में मूड स्विंग होते हैं। ऐसा इसलिए होता है क्योंकि शरीर में विटामिन डी की कमी होने से इंसान चिड़चिड़ा हो जाता है, तनाव होने लगता है, हाथ-पैर दुखने लगते हैं।
5. ठंड में जंक फूड - ठंड में अगर आप गरमा -गरम जंक फूड का सेवन करते हैं तो यह भी आपके ओवरस्लीपिंग का बहुत बड़ा कारण है। जी हां, ठंड में गरम-गरम खाने के लिए हम रोज जंक फूड भी पसंद करते हैं लेकिन वह आपको अधिक आलसी बना देता है। जिससे आप लंबे वक्त तक सोए रहते हैं और किसी प्रकार का कार्य करना पसंद नहीं करते हैं।