20 से 45 साल की उम्र के लोगों में बढ़ रहा खतरा:
पिछले कुछ वर्षों में, गैजेट्स के ओवरयूज से पीठ और रीढ़ की हड्डी की समस्याओं में तेजी से वृद्धि हुई है। 20 से 45 साल की उम्र के लोगों में इन समस्याओं में 60 प्रतिशत तक की बढ़ोतरी देखी गई है। जितना ज्यादा लोग गैजेट्स के आदी होते जा रहे हैं, उतना ही रीढ़ की हड्डी पर बुरा असर पड़ रहा है। इस समस्या को नजरअंदाज करने पर गर्दन में दर्द, कंधे में अकड़न, सिरदर्द और शारीरिक गतिविधि में कमी जैसे लक्षण दिखाई देते हैं। अस्पताल आने वाले 10-12 मरीजों में से लगभग 4-5 मरीज गैजेट के अत्यधिक इस्तेमाल के कारण गर्दन और पीठ दर्द से परेशान होते हैं।
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इन बीमारियों का बढ़ रहा है खतरा:
स्क्रीन के सामने बहुत अधिक समय बिताने से गर्दन में अकड़न, कंधे के ब्लेड में दर्द, शरीर में दर्द या सिरदर्द जैसी समस्याएं हो सकती हैं। यात्रा करते समय मोबाइल फोन का उपयोग करना या काम करते समय घंटों तक लैपटॉप का उपयोग करना, गलत तरीके से बैठना या लंबे समय तक एक ही स्थिति में बैठे रहना पीठ दर्द का कारण बन सकता है।
कैसे करें बचाव?
स्वास्थ्य विशेषज्ञों का कहना है कि पीठ और रीढ़ की हड्डी की समस्याओं से बचने के लिए सावधानियां बरतना जरूरी है। अपनी रीढ़ की हड्डी को लचीला और मजबूत बनाए रखने के लिए वेट लिफ्टिंग, योग, ध्यान, स्ट्रेचिंग और कार्डियो एक्सरसाइज करनी चाहिए। लंबे समय तक इलेक्ट्रॉनिक गैजेट्स का इस्तेमाल करने से बचें और बैठते समय आगे की ओर झुकने से बचें।
ऑफिस में काम करने वाले जरूर करें ये काम:
जो लोग एक जगह बैठकर ऑफिस में घंटों काम करते हैं, उन्हें काम के दौरान छोटे-छोटे ब्रेक लेने चाहिए। अपने बैठने की पोजीशन सही रखनी चाहिए और स्ट्रेचिंग करनी चाहिए। ऐसा करने से रीढ़ और पीठ की समस्याओं से बचा जा सकता है।
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