चीन को पसंद नहीं आया अमेरिका का यह 'स्टाइल'

शुक्रवार, 30 जून 2017 (19:11 IST)
वाशिंगटन। अमेरिका में चीन के राजदूत ने ताइवान को हथियारों की बिक्री और कुछ चीनी कंपनियों के खिलाफ प्रतिबंध लगाने समेत हाल की कुछ कार्रवाइयों पर तीखी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा कि इनसे द्विपक्षीय संबंध कमजोर पड़ जाएंगे। 
 
चीनी राजदूत कुई तियानकाई ने वाशिंगटन में दूतावास में कहा कि इससे राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और राष्ट्रपति शी जिनपिंग के बीच अप्रैल में फ्लोरिडा शिखर सम्मेलन की भावना पर भी प्रतिकूल असर पड़ेगा। उन्होंने कहा कि और ये सभी कार्य- चीनी कंपनियों के खिलाफ प्रतिबंध और विशेष रूप से ताइवान से हथियारों की बिक्री से  निश्चित रूप से दोनों पक्षों के बीच परस्पर विश्वास को कमजोर करेगा।
 
अमेरिका देगा 1.42 अरब डॉलर के हथियार : दरअसल, अमेरिका ने ताइवान को करीब 1.42 अरब डॉलर के हथियार बेचने की योजना बनाई है। अमेरिकी विदेश विभाग के प्रवक्ता हीथर नॉर्ट ने कहा कि ट्रंप प्रशासन ने इस आशय के प्रस्ताव के बारे में कांग्रेस को जानकारी दे दी। उन्होंने कहा कि प्रशासन ने ताइवान के साथ सात प्रस्तावित रक्षा बिक्री के सौदे किए हैं। यह 1.42 अरब अमेरिकी डॉलर के बराबर है। 
 
उन्होंने कहा कि यह बिक्री अमेरिका को ताइवान की पर्याप्त आत्मरक्षा क्षमता बनाए रखने के लिए समर्थन दिखाती है। उन्होंने इस बात पर भी बल दिया कि अमेरिका की लंबे समय से 'वन चाइना' नीति में कोई बदलाव नहीं हुआ है। उल्लेखनीय है कि वन चाइना पॉलिसी का मतलब उस नीति से है, जिसके मुताबिक़ 'चीन' नाम का एक ही राष्ट्र है और ताइवान अलग देश नहीं, बल्कि उसका प्रांत है। (वार्ता)

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