क्राइस्टचर्च। न्यूजीलैंड की प्रधानमंत्री जैसिंडा अर्डर्न का कहना है कि उनके कार्यालय को क्राइस्टचर्च में दो मस्जिदों में गोलीबारी से कुछ मिनट पहले बंदूकधारी का घोषणापत्र मिला था। जुमे की नमाज के दौरान हुए इस हमले में 50 लोगों की मौत हो गई थी और 50 अन्य अब भी घायल हैं।
अर्डर्न ने रविवार को कहा कि मैं उन 30 लोगों में से एक हूं जिन्हें हमले से नौ मिनट पहले घोषणापत्र मेल किया गया था। उन्होंने कहा कि इसमें स्थान या अन्य विशिष्ट जानकारियां नहीं दी गई थीं।
अर्डर्न ने कहा कि इस मेल को दो मिनट के भीतर ही सुरक्षा सेवाओं को भेज दिया गया था। प्रधानमंत्री ने कहा कि उन्होंने लंबे, अस्पष्ट और साजिश से भरे घोषणापत्र को पढ़ा था।
उन्होंने कहा कि तथ्य यह है कि यह इस हमले से जुड़ा एक चरमपंथी दृष्टिकोण वाला वैचारिक घोषणापत्र था, यह बेहद तकलीफदेह है।'
हिरासत में लिए गए तीन लोगों का हमले से कोई संबंध नहीं: न्यूजीलैंड की पुलिस ने कहा है कि क्राइस्टचर्च में दो मस्जिदों में की गई गोलीबारी के मामले में हिरासत में लिए गए चार लोगों में से तीन का इस हमले से कोई संबंध नहीं है।
न्यूजीलैंड पुलिस के आयुक्त माइक बुश ने कहा कि गोलीबारी के बाद पुलिस ने एक पुरुष और एक महिला को हिरासत में लिया था क्योंकि उनकी कार में बंदूकें पाई गई थी। महिला को पहले ही रिहा कर दिया गया है जबकि व्यक्ति पर बंदूक से जुड़े अवैध कार्य करने का आरोप तय किया गया है। हिरासत में लिए गए तीसरे व्यक्ति पर नस्लीय भेदभाव के लिए उकसाने का आरोप है और सोमवार को इस मामले की सुनवाई होगी।