दुबई। ईरान के मुख्य परमाणु केंद्र में रहस्यमय विस्फोट और आग ने भले ही उसे उन्नत सेंट्रीफ्यूग्स का निर्माण करने से रोक दिया हो, लेकिन ऐसी संभावना है कि इससे इस इस्लामी गणराज्य की निम्न संवर्धित यूरेनियम के लगातार बढ़ते जखीरे को बढ़ाने की रफ्तार धीमी नहीं हुई।
यह जखीरा जितना ही बढ़ेगा, उतना ही तथाकथित ‘ब्रेकआउट टाइम’ घटेगा। यह एक ऐसा समय है जिसकी ईरान को, यदि परमाणु हथियार बनाना चाहेगा, की जरूरत होगी।
ईरान ने वहां लगी आग को बाद में स्वीकार किया। इससे उस स्थल पर विध्वंस की संभावना बढ़ी जहां पहले स्टक्सनेट कंप्यूटर वायरस से हमला किया गया था। फिर भी उसने सीधे अमेरिका या इसराइल पर अंगुली उठाने में सावधानी बरती, जिनके अधिकारियों ने इस आग में अपने देश का हाथ होने का संकेत दिया था।