दुबई: अगर किसी टीम को आखिरी गेंद पर जीत के लिए छक्के की दरकार है तो वह अनुभवी और तेजी से रन बनाने वाले बल्लेबाज को क्रीज पर तरजीह देगी बजाए कि एक युवा बल्लेबाज की। लेकिन बैंगलोर और दिल्ली से हुए रोमांचक मुकाबले में कुछ अलग हुआ।
दूसरे छोर पर खड़े ग्लेन मैक्सवेल चाहते तो अंतिम गेंद पर एक रन ले सकते थे लेकिन उन्होंने ऐसा नहीं किया और भरत को ही 6 रन बनाने की हिदायत दी।
भरत से पूछा गया कि आखिरी ओवर से पहले उनके और ग्लेन मैक्सवेल के बीच क्या बातचीत हुई थी तो उन्होंने बताया कि कैसे मैक्सवेल ने उनका आत्मविश्वास बढ़ाया।
मुंबई इंडियन्स के खिलाफ 32 और राजस्थान रॉयल्स के खिलाफ 44 रन की उपयोगी पारियां खेलने वाले भरत ने मैच के बाद संवाददाताओं से कहा, आखिरी ओवर में मैंने और मैक्सी ने बात की कि हम किन क्षेत्रों में शॉट खेल सकते हैं। उन्होंने कहा कि गेंद को देखो और शॉट लगाओ। अंतिम तीन गेंदों में मैंने उनसे कहा कि क्या एक रन लेना है तो उन्होंने कहा कि तुम ही बड़ा शॉट खेलकर जीत दिला सकते हो। इससे मेरा काफी आत्मविश्वास बढ़ा।
भरत ने कहा कि वह आखिरी ओवर से पहले बहुत अधिक नहीं सोचना चाहते थे।उन्होंने कहा, मैं कई चीजों पर ध्यान देने के बजाय एक समय में एक गेंद पर ध्यान दे रहा था। मैंने चीजों को सरल बनाये रखा। हमने टीम के रूप में अच्छा प्रदर्शन किया और जीत दर्ज की।
रॉयल चैलेंजर्स बेंगलोर (आरसीबी) के नये स्टार खिलाड़ी कोना श्रीकर भरत ने कहा कि बल्लेबाजी के तरीके में सुधार करने से उन्हें इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) के पदार्पण सत्र में प्रभाव डालने में मदद मिली।भरत ने दिल्ली कैपिटल्स के खिलाफ मैच में 52 गेंदों पर नाबाद 78 रन बनाये। उन्होंने दबाव में धैर्य बनाये रखा और अवेश खान की मैच की अंतिम गेंद पर छक्का जड़कर अपनी टीम को रोमांचक जीत दिलायी।
पिछले दो तीन वर्षों में अपने बल्लेबाजी के तरीके में बदलाव के बारे में बात करते हुए भरत ने कहा कि उन्हें इस दौरान महसूस हुआ कि वह प्रत्येक गेंद को सीमारेखा के पार नहीं करा सकते।
उन्होंने वर्चुअल मीडिया बातचीत में कहा, इसी तरह कई विभिन्न पहलू हैं जिस पर मैं इस दौरान काम कर रहा था और बड़े मंच पर मुझे इसका फायदा मिला। भरत आईपीएल के इस चरण में लगातार नंबर तीन पर खेलते रहे लेकिन टीम प्रबंधन ने उनसे कहा कि बल्लेबाजी क्रम में किसी भी समय बदलाव किया जा सकता है।
उन्होंने कहा, हम किसी भी क्रम में खेलने के लिये तैयार हैं। इसके बारे में स्पष्ट तौर पर बताया गया है। हर कोई अपनी चुनौती के लिये तैयार है। मुझे नहीं लगता कि किसी तरह की संवादहीनता है। जब आपको मौका दिया जाता है तो आप अच्छा प्रदर्शन करके टीम को जीत दिलाना चाहते हो।