जम्मू। यह सच में उन 1 करोड़ के करीब वैष्णोदेवी आने वाले श्रद्धालुओं के लिए बहुत बड़ी खुशखबरी कही जा सकती है, जो अभी तक मां भगवती के दर्शनों की खातिर 13 किमी की चढ़ाई चढ़ते हैं और गर्मियों में रात होने का इंतजार करते हैं ताकि वे कड़ी धूप से बच सकें।
दरअसल कटड़ा के बेस कैंप के ताराकोट से वैष्णोदेवी के दरबार से आधा किमी पहले सांझीछत तक रोपवे की तैयारी आरंभ हो गई है। पहले कदम के तौर पर इसके लिए टेंडर निकाले गए हैं। सूचनाओं के मुताबिक इस रोपवे पर 250 करोड़ से अधिक का खर्चा आएगा और एक बार बन जाने पर श्रद्धालु मात्र 6 मिनट में ही 13 किमी का सफर कर वैष्णोदेवी के दरबार तक पहुंच जाएंगे। कटड़ा से लेकर मां के दरबार की हवाई दूरी 2.4 किमी है जिस पर रोपवे का निर्माण किया जाना है।
अधिकारियों के मुताबिक यह परियोजना कटरा आधार शिविर के पास ताराकोट से शुरू होगी और सांझीछत पर समाप्त होगी, जो पवित्र मंदिर से आधा किलोमीटर दूर है। रोपवे में 1,500 व्यक्ति प्रति घंटे की क्षमता वाली गोंडोला केबल कार प्रणाली होगी।
5,200 फीट की ऊंचाई पर स्थित त्रिकुटा पहाड़ों में स्थित वैष्णोदेवी की गुफा रियासी जिले में स्थित है। वर्ष 2022 में 91 लाख से अधिक तीर्थयात्रियों ने पवित्र गुफा का दौरा किया था, उनमें से अधिकांश ने कटड़ा के आधार शिविर से लगभग 13 किमी की चढ़ाई की थी।
रेल इंडिया टेक्निकल एंड इकोनॉमिक सर्विस लिमिटेड ने लगभग 2.4 किलोमीटर के रोपवे के निर्माण के लिए कल बोलियां आमंत्रित कीं, जो यात्रा के समय को केवल 6 मिनट तक कम कर सकता है जिससे श्रद्धालुओं के समय और प्रयासों की बचत होती है।
बीओओटी (बिल्ड, ऑन, ऑपरेट, ट्रांसफर) के आधार पर आधारित, संचालित और रखरखाव करने के लिए काम को अनुबंध दिए जाने के बाद इस रोपवे को 36 महीने में पूरा करना होगा। रियायत की अवधि 33 वर्ष (निर्माण सहित) होगी जिसे 10 वर्ष की और अवधि के लिए बढ़ाया जा सकता है।(भाषा)