एक छोटी सी लड़की थी, उसका नाम था परी, वो बात-बात पर गुस्सा होती थी।
उसकी मां उसे हमेशा समझाती रहती कि 'परी बेटा, इतना गुस्सा करना अच्छी बात नहीं है, लेकिन फिर भी उसके स्वभाव में कोई बदलाव नहीं आया।
अब क्या, परी गुस्से से बौखला उठी। तभी वहां उसकी मां ने एक आईना लाकर उसके सामने रख दिया। अब गुस्से से भरी परी ने अपनी शक्ल आईने में देखी, जो कि गुस्से में बहुत ही बुरी लग रही थी।
अपना ऐसा बिगड़ा चेहरा देखते ही परी का गुस्सा छू-मंतर हो गया। तब उसकी मां ने कहा, देखा परी! गुस्से में तुम्हारी शक्ल आईने में कितनी बुरी लगती है, क्योंकि आईना कभी झूठ नहीं बोलता।