हिरनी के वचन पालन की रोमांचक कहानी

कहानी : विश्वास पर दुनिया कायम है... 
 
 
जंगल से गुजरते हुए हिरनी ने पीछा करते शिकारी को देख लिया। शिकारी तीर चलाने ही वाला था कि हिरनी रुक कर बोली, 'तुम मुझे अपना शिकार बनाना चाहते हो तो बनाओ, लेकिन पहले मेरे एक सवाल का जवाब दे दो।' 
 
शिकारी ने कहा, 'क्या है तुम्हारा सवाल?' 
 
हिरनी बोली, 'यदि तुम्हें शेर मार कर खा ले तो तुम्हारे घर वालों को कैसा लगेगा?' 
 
शिकारी ने कहा, 'बहुत दुख होगा।' ' 
 
तुम मुझे शिकार बनाओगे तो क्या मेरे घर वालो को दुख नहीं होगा,' हिरनी ने पूछा। 
 
शिकारी बोला, ' होगा तो, लेकिन यदि इतना मैं सोचने लगूं तो मेरा परिवार भूखों मर जाएगा। इसीलिए मुझे तुम्हारा शिकार करना ही पड़ेगा। मुझे बातों में मत उलझाओ।'
 
जब प्राण रक्षा का कोई युक्ति नहीं बची तो हिरनी ने अंतिम उपाय के तौर पर शिकारी से कहा, 'आप मेरा शिकार करना ही चाहते हैं तो जरूर कीजिए लेकिन मुझे अपने परिवार से अंतिम बार मिलने दीजिए। मैं आपसे वादा करती हूं कि अपने परिवार से मिलकर तुरंत वापस आ जाऊंगी।' 
 
यह सुन शिकारी ने कहा, 'तुम बचने के लिए बहाना बना रही हो। तुम पर भला मैं कैसे यकीन कर लूं।' 
 
हिरनी ने कहा, 'विश्वास पर ही दुनिया कायम है। मैं वचन देती हूं, मैं परिवार से मिलकर तुरंत आ जाऊंगी।' 
 
शिकारी को विश्वास दिला कर हिरनी घर आई। अपने बच्चों से प्यार किया और अपने पति हिरन से जंगल में घटी घटना कह सुनाई। 
 
यह सुनकर हिरन बोला, 'चलो हम भी साथ चलते हैं, मैं अकेले तुम्हें वहां नहीं जाने दूंगा।' 
 
हिरनी ने कहा, 'मैंने शिकारी को वचन दिया है, इसलिए मुझे जाना ही होगा। इसके बाद हिरनी अपने परिवार के साथ शिकारी के पास पहुंची। 
 
परिवार के साथ हिरनी को आए देखकर शिकारी का दिल पसीज गया। उसने परिवार के सामने हिरनी का शिकार करना उचित नहीं समझा। 
 
शिकारी बोला, 'तुमने अपने वचन का पालन किया है, जाओ अपने परिवार के साथ रहो।' 
 
यह कहकर शिकारी अपने घर लौट आया और उसने कसम खाई कि अब वह किसी जानवर का शिकार नहीं करेगा।
 
कहानी से सीख :- हमेशा अपने वचन का पालन करो, जैसा कि हिरनी ने किया। 

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