टाटा की नजर फोर्ड के ब्रांडों पर, बजाज उत्पादन घटाएगी

रविवार, 26 अगस्त 2007 (18:19 IST)
टाटा समूह ने फोर्ड मोटर कंपनी के जगुआर और लैंड रोवर ब्रांडों का अधिग्रहण करने में दिलचस्पी व्यक्त की है। टाटा समूह के अध्यक्ष रतन टाटा ने यह जानकारी दी। उन्होंने कहा कि इस अधिग्रहण से टाटा मोटर्स केवल एक ही बाजार पर निर्भर नहीं रहेगी।

कंपनी को इससे अपनी वैश्विक मौजूदगी बढ़ाने में मदद मिलेगी। टाटा मोटर्स अपनी लाख रुपए की कार अगले वित्त वर्ष के प्रारंभ में लांच कर देगी। यह छोटी कार सुरक्षा और उत्सर्जन के सभी मानकों को पूरा करेगी।

बजाज ऑटो लि. आगामी सितंबर माह से पुणे के नजदीक स्थित अपने अकुर्डी संयंत्र में दुपहिया वाहनों का निर्माण रोकने जा रही है। कंपनी इस संयंत्र में बनने वाले अपने क्रिस्टल स्कूटर का निर्माण कार्य औरंगाबाद के नजदीक स्थित वालुज संयंत्र में स्थानांतरित करने जा रही है, जबकि इसी संयंत्र में बनने वाले दूसरे वाहन 110 सीसी के डिस्कवर का निर्माण पूरी तरह से बंद किया जा रहा है। कंपनी के प्रबंध निदेशक राजीव बजाज जुलाई में आयोजित हुई वार्षिक आमसभा में इस आशय के संकेत दे चुके थे कि अकुर्डी संयंत्र कंपनी के लिए लाभप्रद नहीं है तथा इसे बंद कर दिया जाएगा।

जनरल मोटर्स इस वर्ष के अंत तक भारत में अपने विक्रेता एवं सेवा संबंधी नेटवर्क का विस्तार करेगी। जनरल मोटर्स इंडिया के उपाध्यक्ष पी. बालेन्द्रन के अनुसार इसके तहत 114 विक्रय केन्द्र एवं 120 सेवा केन्द्र प्रारंभ किए जाएँगे। वर्तमान में कंपनी के 95 विक्रय केन्द्र एवं 97 सेवा केन्द्र हैं।

देश की सबसे बड़ी निर्माण एवं इंजीनियरिंग फर्म लार्सन एंड टुब्रो के शेयरधारकों ने कंपनी को 70 करोड़ डॉलर अर्थात्‌ 2800 करोड़ रु. जुटाने की मंजूरी दे दी है। कंपनी के अध्यक्ष एएम नाईक के अनुसार इस राशि का इस्तेमाल कंपनी के परिचालन विस्तार पर किया जाएगा। यह राशि ग्लोबल डिपॉजिटरी रिसीट (जीडीआर), विदेशी मुद्रा परिवर्तनीय बॉण्ड या अन्य माध्यमों से जुटाई जाएगी। कंपनी एक शिपयार्ड पर करीब 1500 करोड़ रु. का निवेश करेगी। शिपयार्ड गुजरात या तमिलनाडु में बनाया जाएगा।

इस संबंध में अंतिम निर्णय सितंबर तक लिया जाएगा। कंपनी की दो विशेष आर्थिक क्षेत्र स्थापित करने की भी योजना है। साथ ही स्टीम टर्बाइन बनाने के लिए संयुक्त उद्यम स्थापित करने के लिए दो कंपनियों से बातचीत चल रही है। नाईक ने शेयरधारकों को संबोधित करते हुए कहा कि कंपनी के राजस्व में इस वित्त वर्ष में 25 प्रतिशत बढ़ोतरी होने की उम्मीद है।

सार्वजनिक क्षेत्र की भारत हैवी इलेक्ट्रिकल्स लिमिटेड (भेल) को झारखंड और पश्चिम बंगाल में 500 मेगावाट क्षमता वाली दो बिजली परियोजनाओं के निर्माण के लिए 6500 करोड़ रु. से अधिक का आर्डर मिला है। भेल की विज्ञप्ति के अनुसार इस ऑर्डर के तहत कंपनी को झारखंड के कोडरमा स्थित तापविद्युत बिजली संयंत्र और पश्चिम बंगाल के दुर्गापुर स्टील तापविद्युत बिजली संयंत्र के लिए वाष्प टरबाईन, बायलर एवं संबद्ध बिजली उपकरणों की आपूर्ति, जाँच एवं उसे शुरू करने के साथ ही अत्याधुनिक नियंत्रण एवं इलेक्ट्रोस्टेटिक प्रेसिपिटेटर और स्विचयार्ड आदि लगाने होंगे।

भेल ने 500 मेगावॉट और 1000 मेगावॉट क्षमता वाली तापविद्युत इकाइयों के निर्माण के लिए एक अत्याधुनिक प्रौद्योगिकी विकसित की है। कंपनी 800 मेगावॉट क्षमता वाले सुपरक्रिटिकल बायलर पेश करने जा रही है। इसमें भारतीय एवं आयातित दोनों प्रकार के कोयले का उपयोग हो सकेगा।

डीएससीएल ने 2 रु. अंकित मूल्य के प्रत्येक शेयर पर 150 प्रश का विशेष अंतरिम लाभांश देने की घोषणा की है। कंपनी ने हाल ही में एसबीएम लैंड रिडेवलपमेंट प्रोजेक्ट में अपने 50 प्रश अधिकार, शीर्षक एवं हिस्सेदारी की बिक्री 837.50 करोड़ रु. में की है।

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