भारतीय क्रिकेट टीम टी-20 ओवर में 19 वें ओवर के कहर से जूझ रही है तो वनडे में आज 38वें ओवर ने टीम इंडिया को दुख दे डाला। यह दुख रनों से ज्यादा कैच छोड़ने का रहा।
दो सेट बल्लेबाजों के सामने 38वें ओवर करने वाले आवेश खान की गेंद पर क्लासें का एक बेहद आसान कैच मोहम्मद सिराज ने छोड़ दिया। इसके बाद अगली ही गेंद पर मिलर का ऐसा ही कैच लेग साइड पर रवि विश्नोई ने छोड़ दिया। इसकी अगली गेंद पर प्वाइंट पर ईशान किशन ने गेंद को फील्ड नहीं किया और चौका चला गया।
दक्षिण अफ्रीका ने 110 रन के स्कोर पर चार विकेट गंवा दिये थे। पर इसके बाद मिलर (63 गेंद में पांच चौके, तीन छक्के) और क्लासेन (65 गेंद में छह चौके, दो छक्के) ने पांचवें विकेट के लिये नाबाद 139 रन की साझेदारी से अपनी टीम को 250 रन के पार कराया।
भारत के लिये शार्दुल ठाकुर ने आठ ओवर में 35 रन देकर दो विकेट झटके।बारिश के कारण मैच शुरू होने में देरी हुई और इसे 40-40 ओवर का कर दिया गया। बल्लेबाजी का न्योता मिलने के बाद दक्षिण अफ्रीका ने धीमी शुरूआत की और 10 ओवर में बिना विकेट गंवाये 41 रन बनाये।
भारतीय कप्तान शिखर धवन का गेंदबाजी करने का फैसला नयी गेंद से गेंदबाजी करने वाले मोहम्मद सिराज और आवेश खान ने सही साबित किया।
सिराज ने दोनों तरीकों से गेंद को स्विंग कराकर शुरू में दक्षिण अफ्रीकी बल्लेबाजों को काफी परेशान किया लेकिन कोई विकेट नहीं ले सके।
धवन ने नौंवे ओवर में ठाकुर को लगाया और दो गेंद के बाद ही इस तेज गेंदबाज ने अपनी टीम को पहला मौका दिलाया जिसमें जानेमन मलान उनकी गेंद पर बल्ला छुआ बैठे थे और वह पहली स्लिप में शुभमन गिल के हाथों आउट हो सकते थे लेकिन इस भारतीय क्षेत्ररक्षक इसे लपक नहीं सका।
पर ठाकुर ने चार ओवर के बाद मलान को अपना शिकार बनाया जब गेंद उनके बल्ले को छूकर शार्ट मिडविकेट पर श्रेयस अय्यर के हाथों में समां गयी।
पदार्पण करने वाले लेग स्पिनर रवि बिश्नोई ने अपने पहले ही तीन ओवर में 31 रन लुटा दिये। दक्षिण अफ्रीकी कप्तान तेम्बा बावुमा (08) ने 14वें ओवर में बिश्नोई पर पहले रिवर्स स्वीप से चौका लगाया और फिर ड्राइव से अगली गेंद को सीमारेखा के पार किया।
फिर ठाकुर ने बावुमा के रूप में अपना दूसरा विकेट झटक लिया।कुलदीप यादव ने अपनी बेहतरीन लेग स्पिन से ऐडन मार्कराम को बोल्ड किया और उन्हें खाता भी नहीं खोलने दिया।क्विंटन डिकॉक एक छोर पर डटे हुए अपनी पारी खेलते रहे लेकिन 23वें ओवर में बिश्नोई की गेंद पर पगबाधा आउट हाो गये।
डिकॉक ने 54 गेंद में पांच चौकों की मदद से 48 रन बनाये। उनके जाने के बाद 23वें ओवर में दक्षिण अफ्रीका का स्कोर चार विकेट पर 110 रन हो गया।दो ओवर बाद मिलर ने बिश्नोई पर लांग ऑन पर मेजबानों के खिलाफ पारी का पहला छक्का जड़ा।
मिलर और क्लासेन ने फिर प्रतिद्वंद्वी टीम के गेंदबाजों के खिलाफ आक्रामकता बरतते हुए तेजी से रन जुटाये। मिलर ने संयम और सतर्कता से खेलते हुए ढीली गेंदों को बाउंड्री तक पहुंचाया और चार चौके और एक छक्के से 50 गेंद में अपना 18वां अर्धशतक पूरा किया।
क्लासेन ने भी जल्द ही वनडे में अपना चौथा पचासा पूरा किया जिसके लिये उन्होंने 52 गेंद ली।डैथ ओवर में गेंदबाजी की समस्या जारी रही जिससे मिलर और क्लासेन ने महज 84 गेंद में शतकीय साझेदारी पूरी की।