उन्होंने कहा कि वक्त बदल रहा है और लोग व्हाटसऐप और स्नैपचैट जैसे सोशल मीडिया का इस्तेमाल करते हैं। ऐसे में हमें भी समय से आगे रहना होगा। खिलाड़ियों के बिल रिकार्ड के बजाय हम टेनिस की तरह खिलाड़ियों के कम्युनिकेशन डिवाइस तक ही पहुंच बनाने की सोच रहे हैं ताकि बातचीत की पूरी जानकारी मिल सके। एसीयू को इसके लिए आईसीसी बोर्ड की अनुमति जरूरी होगी।