चैंपियंस लीग में विदेशी खिलाड़ियों का जलवा

सोमवार, 10 अक्टूबर 2011 (20:24 IST)
चैंपियंस लीग ट्‍वेंटी-20 टूर्नामेंट का खिताबी मुकाबला इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) की दो टीमों के बीच खेला गया लेकिन टूर्नामेंट में भारतीय खिलाड़ियों के मुकाबला विदेशी खिलाड़ियों का जलवा रहा। टूर्नामेंट में सर्वाधिक रन बनाने और विकेट लेने के मामले में विदेशी खिलाड़ी कहीं आगे रहे। ऑस्ट्रेलिया की न्यू साउथ वेल्स टीम के डेविड वॉर्नर ने पांच मैचों में 109.33 के औसत से सर्वाधिक 328 रन बनाए।

डेविड वॉर्नर टूर्नामेंट में दो शतक बनाने वाले एकमात्र बल्लेबाज रहे। टूर्नामेंट का एक अन्य शतक ऑस्ट्रेलियाई टीम साउथ ऑस्ट्रेलिया के डेनियल हैरिस के नाम रहा।

विकेट लेने के मामले में वेस्टइंडीज की टीम त्रिनिदाद एंड टोबेगो के तेज गेंदबाज रवि रामपाल छह मैचों में 12.50 के औसत से 12 विकेट लेकर सबसे आगे रहे लेकिन इसमें उनके क्वालीफाइंग दौर के विकेट भी शामिल थे जिसके कारण मुख्य टूर्नामेंट में सर्वाधिक विकेट लेने का श्रेय विजेता मुंबई इंडियंस के श्रीलंकाई तेज गेंदबाज लसित मलिंगा को गया।

मलिंगा छह मैचों में 11.70 के औसत से दस विकेट लेकर 'मैन ऑफ द सिरीज' बने। उन्होंने साथ ही गोल्डन विकेट का पुरस्कार भी जीता। गोल्डन बैट का पुरस्कार डेविड वार्नर के हिस्से में गया यानी टूर्नामेंट के तीन बड़े पुरस्कार विदेशी खिलाड़ियों के हिस्से में गए।

चैंपियंस लीग में सर्वाधिक रन बनाने वाले शीर्ष दस बल्लेबाजों में एकमात्र भारतीय रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु के विराट कोहली रहे। वॉर्नर (328) के बाद बेंगलुरु के कैरेबियाई बल्लेबाज क्रिस गेल ने 257 रन बनाए।

कोहली के खाते में 232 रन रहे1 कोलकाता नाइटराइडर्स के दक्षिण अफ्रीकी बल्लेबाज जैक्स कैलिस 223 रन के साथ चौथे स्थान पर रहे। दक्षिण अफ्रीका के वारियर्स टीम के जेटी स्मट्स 184 रन के साथ पांचवें स्थान पर रहे।

इंग्लैंड के समरसेट के रोलोफ वान डेर मर्व (179) छठे, समरसेट के ही पीटर ट्रेगो (175) सातवें, ट्रिनिदाद एंड टोबेगो के लेंडल सिमंस (161) आठवें, चेन्नई सुपरकिंग्स के माइकल हसी (160) नौवें और साउथ ऑस्ट्रेलिया के कैलम फर्ग्यूसन (147) दसवें स्थान पर रहे।

चैंपियंस लीग में खेल रही भारतीय टीमें अपने बल्लेबाजों से ज्यादा विदेशी बल्लेबाजों पर निर्भर थीं। इस तथ्य का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि टूर्नामेंट में कोहली के बाद 100 से ज्यादा रन बनाने वाले एक अन्य भारतीय बल्लेबाज नाइटराइडर्स के मानविंदर बिस्ला थे, जिन्होंने पांच मैचों में 102 रन बनाए और सर्वाधिक रन बनाने वाले बल्लेबाजों की सूची में उनका स्थान 24वां था।

अन्य भारतीयखिलाड़ियों में गौतम गंभीर 97, सौरभ तिवारी 91, अंबाटी रायुडू 90, मनोज तिवारी 88, राजगोपाल सतीश 76,यूसुफ पठान 68, सुरेश रैना 68 और सरल कंवर 65 रन ही बना सके।

गेंदबाजी में भी भारतीय गेंदबाजों की स्थिति कोई बहुत अच्छी नहीं रही और टॉप टेन में सिर्फ दो गेंदबाज ही शामिल रहे। विजेता मुंबई इंडियंस के युवा तेज गेंदबाज अबू नेचिम अहमद छह मैचों में आठ विकेट लेकर चौथे और कप्तान हरभजन सिंह छह मैचों में सात विकेट लेकर छठे स्थान पर रहे।

त्रिनिदाद एंड टोबेगो के रवि रामपाल 12 विकेटों के साथ चोटी पर और सुनील नारायण दस विकेटों के साथ दूसरे स्थान पर रहे लेकिन उनके इस प्रदर्शन में क्वालीफाइंग दौर के विकेट भी शामिल हैं। मुख्य टूर्नामेंट के आधार पर मुंबई के लसित मलिंगा दस विकेटों के साथ सबसे आगे हैं।

समरसेट के अल्फांसो थामस आठ विकेटों के साथ पांचवें, हरभजन सात विकेटों के साथ छठे, न्यू साउथ वेल्स के पैट कमिंस सात विकेटों के साथ सातवें, बेंगलुरु के कीवी खिलाड़ी डेनियल विटोरी सात विकेटों के साथ आठवें, साउथ ऑस्ट्रेलिया के शान टेट छह विकेटों के साथ नौवें और वारियर्स के रस्टी थेरोन छह विकेटों के साथ दसवें स्थान पर रहे। (वार्ता)

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