हिन्दुस्तानी मुसलमान होने पर फख्र-श्‍ाबाना

गुरुवार, 21 अगस्त 2008 (11:08 IST)
प्रसिद्घ अभिनेत्री व सामाजिक कार्यकर्ता शबाना आजमी ने कहा कि हिन्दुस्तानी मुसलमान होने का उन्हें बड़ा फख्र है। लोकतंत्र में यहाँ मुसलमान के पास पर्याप्त दायरा है, जिसमें उसे राष्ट्रपति, शाहरुख खान व इरफान पठान बनने का सपना देखने की आजादी मिली है।

इंदौर में पत्रकारों से रूबरू हुईं शबाना आजमी ने कहा कि कश्मीर में बने हालात के लिए सियासतदार जिम्मेदार हैं, जिन्होंने इस मामले को काफी उलझा दिया। आम सहमति के आधार पर इसका हल निकलना चाहिए व परस्पर संवाद होना चाहिए।

उन्होंने कहा कि कश्मीरी पंडितों को जब तक वापस बसाया नहीं जाता, कश्मीर का मुद्दा बना रहेगा। एक इंटरव्यू में मुस्लिमों के साथ कथित भेदभाव वाली टिप्पणी के बारे में वे आज भी कायम हैं। उन्होंने कहा कि इसका बतंगड़ नहीं बनाया जाना चाहिए, बल्कि गंभीरता से लेना चाहिए।

अपने हिन्दुस्तानी मुसलमान होने पर फख्र के साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि इस बात को भी समझना चाहिए कि देश में कहीं न कहीं मुसलमानों के साथ भेदभाव भी हो रहा है। जस्टिस राजेंद्र सच्चर कमेटी की रिपोर्ट में देश में मुसलमानों की असल स्थिति इस बात का जिक्र है।

देश में आतंकवादी घटनाओं को लेकर उन्होंने कहा कि जिसने भी जुर्म किया है, उसे हर हाल में सख्त सजा मिलना चाहिए। इस मामले में कोई लिहाज नहीं हो सकता।

उन्होंने कहा कि मुस्लिम समाज के लीडरों ने मजहब के नाम पर कौम को भड़काने का काम ही किया। कौम को खुद अपने गिरेबाँ में झाँकना चाहिए। उन्होंने आतंकवाद के खिलाफ निकाली गई एक बड़ी रैली का जिक्र करते हुए कहा कि मुस्लिम समाज में जागरूकता आ रही है। (नईदुनिया)

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