भोपाल। मध्यप्रदेश में चौदहवीं विधानसभा के गठन के लिए हुए चुनाव में भारी बहुमत से सत्ता की ‘हैट्रिक’ लगाने वाली भाजपा के विधायक दल का नेता चुनने के लिए 13 दिसंबर को पार्टी के प्रदेश मुख्यालय पर नवनिर्वाचित विधायक दल की बैठक बुलाई गई है। इसमें शिवराज सिंह चौहान को फिर नेता चुने जाने की औपचारिकता पूरी होगी और इसके अगले दिन 14 दिसंबर को वह भाग्यशाली समझे जाने वाले भोपाल के ‘जम्बूरी मैदान’ में पद एवं गोपनीयता की शपथ लेंगे।
भोपाल के बीएचईएल इलाके में स्थित ‘जम्बूरी मैदान’ को भाजपा और खुद चौहान अपने लिए भाग्यशाली मानते हैं, क्योंकि यहां जब भी उन्होंने शपथ ली है अथवा बड़ी-बड़ी रैलियां की हैं, पार्टी ने सत्ता में वापसी दर्ज की है।
पार्टी सूत्रों ने बताया कि 13 दिसंबर को नवनिर्वाचित विधायकों द्वारा अपना नेता चुनने के लिए हो रही विधायक दल की पहली बैठक में केन्द्रीय पर्यवेक्षक के रूप में लोकसभा में विपक्ष की नेता सुषमा स्वराज, प्रभारी महासचिव अनंत कुमार एवं प्रवक्ता राजीव प्रताप रूढ़ी शामिल होंगे।
उन्होंने कहा कि 14 दिसंबर को अकेले चौहान मुख्यमंत्री पद की शपथ लेंगे और उनके मंत्रिमण्डल सदस्यों की शपथ 17 दिसंबर को राजभवन में होगी। हालांकि यह तिथि अभी तय नहीं की गई है। 16 दिसंबर से मलमास शुरू होने और इस दौरान कोई शुभ कार्य नहीं करने के बारे में पूछने पर उन्होंने कहा कि बतौर मुख्यमंत्री चौहान द्वारा शपथ लेने से मंत्रिमण्डल गठन की शुरुआत तो हो ही जाएगी, इसलिए मलमास में मंत्रियों की शपथ से कोई फर्क नहीं पड़ता है। वैसे भी यह अंधविश्वास की बातें हैं कि मलमास में कोई शुभ काम नहीं किया जाता है।
तीसरे कार्यकाल के लिए चौहान की मुख्यमंत्री पद की शपथ के लिए जम्बूरी मैदान पर होने वाले समारोह के लिए समूचे प्रदेश से तीन से चार लाख कार्यकर्ता भोपाल आएंगे। इस समारोह के लिए भाजपा के प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार एवं गुजरात के मुख्यमंत्री नरेन्द्र मोदी, वरिष्ठ नेता लालकृष्ण आडवाणी, पार्टी अध्यक्ष राजनाथ सिंह, लोकसभा में विपक्ष की नेता सुषमा स्वराज, उद्योगपति अनिल अंबानी, कुमार मंगलम बिड़ला के साथ ही पंजाब के मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल, ओड़िशा के मुख्यमंत्री नवीन पटनायक, तमिलनाडु की मुख्यमंत्री जे जयललिता को भी न्यौता भेजा गया है।
इससे पहले 12 दिसंबर को मुख्यमंत्री पद की शपथ लेने वाली राजस्थान की मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे तथा 13 दिसंबर को शपथ लेने वाले छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री रमन सिंह को भी इस समारोह का आमंत्रण भेजा गया है।
सूत्रों ने बताया कि इस चुनाव में दस मंत्रियों के पराजित होने, एक मंत्री के चुनाव नहीं लड़ने और दो मंत्रियों के टिकट कटने की वजह से यह तो साफ है कि शिवराज मंत्रिमण्डल में तेरह नए चेहरे हो सकते हैं तथा कुछ पुराने चेहरे बदले जा सकते हैं।
उल्लेखनीय है कि मुख्यमंत्री चौहान कल सुबह राजभवन पहुंचे थे तथा वहां उन्होंने राज्यपाल रामनरेश यादव को नई विधानसभा और सरकार के गठन की राह साफ करने के लिए अपने एवं मंत्रिमण्डल का इस्तीफा सौंपा। राज्यपाल ने नई सरकार के गठन तक उन्हें कार्यवाहक मुख्यमंत्री बने रहने को कहा है। (भाषा)