हादसों की 'पुलिया', एक पखवाड़े में दूसरी दुर्घटना

-संजय जैन, झाबुआ से
नेशनल हाइवे पर पिटोल से झाबुआ के बीच स्थित मोद नदी पर एक पखवाड़े में पुलिया से नीचे पानी में ट्रक के गिरने की दूसरी घटना के बाद भी मार्ग की बदहाली एवं पुलिया पर हो रहे गड्ढों पर जिम्मेदारों को ध्यान नहीं है।
 
गत 30 मार्च को एक भूसे से भरा ट्रक पुलिया से नीचे गिर कर आधा पानी में डूब गया था। वहीं शनिवार-रविवार की दरमियानी रात 2:30 बजे चल रही तेज आंधी की चपेट के चलते फिर एक ट्रक पुलिया पर हो रहे बड़े-बड़े गड्ढों से अनियंत्रित हो कर नदी मे जा गिरा। ट्रक क्रमांक एमपी 09 जीएफ 7776 इंदौर से अहमदाबाद प्लास्टिक दाना भरकर जा रहा था कि उक्त दुर्घटना हुई। वाहन के डाइवर एवं क्लीनर सुरक्षित पानी से बाहर निकल आए।
 
प्रशासन को है बड़े हादसे का इंतजार : गौरतलब है कि मोद नदी पर एक पुरानी पुलिया है जिस पर से वर्तमान में 24 घंटों में एक हजार से अधिक भार वाहन एवं यात्री गाड़ियों का आवागमन है। वहीं फोरलेन हेतु निर्मित किया जा रहा पुल निर्माणधीन है, जिस पर आवागमन प्रारंभ नहीं किया गया। समीप ही डेम होने के कारण लगभग 10 से 15 फीट पानी पुलिया के आसपास भरा रहता है जो कि पुलिया से नीचे गिरने वाले वाहनों के लिए बड़ा खतरा है। एक पखवाड़े में दो माल भरे वाहनों की दुर्घटना इस बात का संकेत दे रही है कि मार्ग की हालत कितनी दयनीय है।
 
तूफान में गई कृषक की जान : जिले में आई आंधी-तूफान से पेटलावद इलाके के खोरिया गांव में 55 साल के कृषक मगन की मौत हो गई। दरअसल, यह किसान अपने खेत पर था और कुंए के किनार खड़ा था। तेज आंधी में इसकी कुंए में गिरने से मौत हो गई। आंधी इतनी तेज थी कि लोगों के घरों की टिन तक उड़ गई। साथ ही कई स्थानों पर पेड़ उखड़ गए। 
 
 

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