स्वच्छ भारत अभियान में अपनी पेंशन के पैसों से योगदान करने वाले 69 वर्षीय इन रिटायर्ड टीचर का नाम चंद्रकांत कुलकर्णी है, जो एक कॉन्वेंट स्कूल में बच्चों को ड्रॉइंग पढ़ाते थे। रिटायरमेंट के बाद कुलकर्णी को 16 हजार रुपये पेंशन के रूप में मिलते है, जिसमें से उन्होंने इस अभियान के लिए हर महीने 5 हजार रुपये देने का फैसला किया है।
इतना ही नहीं, हर महीने के 5 हजार रुपये के हिसाब से उन्होंने करीब 55 पोस्ट डेटिड चेक भी पीएम को दिए हैं, जो हर महीने चंद्रकांत के अकाउंट से विड्रॉ किए जाएंगे। चंद्रकांत ने कहा, 'मुझे अपने पीएम पर बहुत विश्वास है। मैंने 15 अगस्त 2015 को पीएम मोदी का भाषण सुना था। उन्होंने कहा था कि हमारे देश में 73 फीसदी लोगों के पास शौचालय नहीं हैं, जिससे मुझे बहुत दुख हुआ। इसलिए मैंने अपनी पेंशन को देश के विकास के लिए योगदान देने का फैसला किया।'
प्रधानमंत्री ने चंद्रकांत से मिलने के बाद ट्विटर पर इसकी जानकारी दी। पीएम ने बताया कि उन्होंने चंद्रकांत कुलकर्णी से मुलाकात की और वो उनसे खासतौर पर मिलना चाहते थे। इतना ही नहीं, उन्होंने चंद्रकांत को देश का सच्चा हीरो बताया।