अमरनाथ हमला : विपक्ष ने कहा, खामियों पर आत्मनिरीक्षण करे सरकार
मंगलवार, 11 जुलाई 2017 (19:38 IST)
नई दिल्ली। विपक्षी दलों ने मंगलवार को सरकार से कहा कि वह खुफिया सूचना पहले से मिलने के बावजूद जम्मू कश्मीर में अमरनाथ यात्रियों पर हुए भयावह और कायराना आतंकी हमले को रोकने में अपनी नाकामी पर आत्मनिरीक्षण करे। कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने इसे सुरक्षा में गंभीर और अस्वीकार्य खामी बताया और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से कहा कि इसकी जिम्मेदारी वे लें।
उप राष्ट्रपति पद के लिए अपने उम्मीदवार का नाम तय करने के लिए संसद पुस्तकालय में इकट्ठे हुए 18 विपक्षी दलों ने कल के आतंकी हमले पर प्रस्ताव पारित किया। हमले को उन्होंने मानवीयता और भारत की बहुलता तथा विविधता पर हमला बताया।
प्रस्ताव में कहा गया, सरकार को आत्मावलोकन करना चाहिए कि पहले से खुफिया सूचनाएं उपलब्ध होने के बावजूद इस हमले को क्यों नहीं रोका जा सका? हम विपक्षी दलों के नेता अमरनाथ यात्रियों पर हुए भयावह और कायराना आतंकी हमले की कड़ी निंदा करते हैं। प्रस्ताव में कहा गया कि दलों की गहरी संवेदनाएं पीड़ितों के परिवारों के साथ हैं, वे दुख की इस घड़ी में उनके साथ खड़े हैं।
इसमें कहा गया, यह मानवता पर हमला है। यह भारत की बहुलता और विविधता पर हमला है। यह मानवीय मूल्यों तथा कश्मीरियत पर हमला है। हम सरकार से आह्वान करते हैं कि वह अपने पास उपलब्ध सभी संसाधनों का इस्तेमाल कर इस अमानवीय कृत्य के असल मास्टरमाइंड और इसके लिए जिम्मेदार लोगों को न्याय के कठघरे में लाए।
कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने भी इसे सुरक्षा में गंभीर और अस्वीकार्य खामी बताया और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से कहा कि इसकी जिम्मेदारी वे लें। राहुल ने ट्वीट किया, सुरक्षा में यह खामी बहुत ही गंभीर और अस्वीकार्य है। इसकी जिम्मेदारी प्रधानमंत्री को लेनी चाहिए और इसे फिर से नहीं होने देना चाहिए। वह कायर आतंकी भारत को डरा नहीं सकते।
राज्यसभा में विपक्ष के नेता गुलाम नबी आजाद ने कहा कि कश्मीर में मारे गए अमरनाथ यात्रियों की याद में 18 विपक्षी दलों के नेताओं ने बैठक शुरू होने से पहले दो मिनट का मौन रखा। कल रात आतंकियों ने अमरनाथ यात्रियों की एक बस पर हमला किया था जिसमें छह महिलाओं समेत साल श्रद्धालुओं की मौत हो गई थी।
बैठक कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने बुलाई थी। इसमें पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह और एचडी देवेगौड़ा भी शामिल हुए। इसमें विपक्ष के अन्य शीर्ष नेता जदयू के शरद यादव, माकपा के सीताराम येचुरी, भाकपा के सुधाकर रेड्डी, तृणमूल के डेरेक ओ ब्रायन, सपा के नरेश अग्रवाल, बसपा के सतीशचंद्र मिश्रा, नेशनल कॉन्फ्रेंस के उमर अब्दुल्ला और राकांपा के प्रफुल्ल पटेल शामिल हुए।
राजद के जयप्रकाश यादव, रालोद के अजीत सिंह और झामुमो के हेमंत सोरेन भी इसमें शामिल हुए। बैठक में राहुल गांधी, गुलाम नबी आजाद, मल्लिकार्जुन खड़गे और अहमद पटेल भी मौजूद थे। (भाषा)