एनटीपीसी ऊर्जा संयंत्र में बड़ा हादसा, गुजरात दौरा छोड़ रायबरली में राहुल...
गुरुवार, 2 नवंबर 2017 (11:00 IST)
रायबरेली। कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने रायबरेली जिले के ऊंचाहार स्थित राष्ट्रीय ताप विद्युत निगम (एनटीपीसी) के संयंत्र का बॉयलर फटने से हुई 26 लोगों की मौत पर दुख जताते हुए कहा कि वह तय समय से पहले संयंत्र का संचालन शुरू किए जाने की जांच करवाने की मांग करेंगे।
घायलों का हालचाल पूछने यहां पहुंचे राहुल ने एनटीपीसी संयंत्र परिसर में अधिकारियों से बातचीत कर स्थिति का जायजा लिया। इस दौरान किसी ने उन्हें बताया कि इस संयंत्र को तीन साल के भीतर चलाया जाना था, लेकिन समय से पहले, ढाई साल में ही इसका संचालन शुरू कर दिया गया। इस पर राहुल ने कहा, 'हम जांच की मांग करेंगे। लोग कह रहे हैं कि इसको (संयंत्र) जल्दी चला दिया..... चलाना नहीं चाहिए था।
इस दर्दनाक हादसे के बाद गुजरात का चुनावी दौरा ‘नवसृजन यात्रा’ अभियान बीच में ही छोड़कर रायबरेली पहुंचे कांग्रेस उपाध्यक्ष ने अस्पताल जाकर घायलों का हालचाल पूछा और घटना पर दुख जताते हुए पीड़ित परिवारों की हर संभव सहायता का भरोसा दिलाया। बाद में राहुल संयंत्र परिसर में भी गए। जहां वह एनटीपीसी के अधिकारियों से यह पूछते हुए सुने गए कि, 'कितने कर्मचारी काम कर रहे थे?' इस दौरान उनके साथ कांग्रेस महासचिव गुलाम नबी आजाद और दल के प्रान्तीय अध्यक्ष राज बब्बर भी थे।
केन्द्रीय ऊर्जा मंत्री आर. के. सिंह, उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री दिनेश शर्मा और प्रदेश के बिजली मंत्री श्रीकांत शर्मा भी मौके पर पहुंचे और हालात का जायजा लिया।
केन्द्रीय मंत्री सिंह ने संवाददाताओं से बातचीत में संयंत्र को जल्दी शुरू किए जाने के सवाल पर कहा कि ऐसा बिल्कुल नहीं है। यह संयंत्र मार्च से पहले तैयार हो गया था। उसके बाद हमने परीक्षण करके इसे शुरू किया। उन्होंने कहा कि यह रखरखाव या ‘डिजायन’ से जुड़ा मामला हो सकता है। इसकी जांच की जाएगी। उन्होंने कहा कि एनटीपीसी ने पहले मृतकों के परिजन को पांच लाख रुपए मुआवजा देने की बात कही थी। लेकिन अब अनुग्रह राशि को बढ़ाकर 20 लाख रुपए कर दिया गया है।
रायबरेली से सांसद कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने ऊंचाहार में हुए हादसे पर गहरा दुख जाहिर करते हुए पार्टी कार्यकर्ताओं से कहा कि वह पीड़ितों की हर संभव मदद करें। कांग्रेस महासचिव गुलाम नबी आजाद ने कहा कि सोनिया परसों ही अस्पताल से लौटी हैं। अगर वह स्वस्थ होती तो यहां जरूर आतीं।
उन्होंने कहा कि हम पार्टी की तरफ से इस घटना पर शोक प्रकट करते हैं। उसके साथ ही हमारी मांग रहेगी कि घटना की जांच किसी बाहरी एजेंसी से कराई जानी चाहिए। कहीं ना कहीं कोई बड़ी कमी रही है। चाहे कोयले की बात हो। या चाहे इसे जल्दबाजी में शुरू होने की वजह से हादसा हुआ।
आजाद ने कहा कि यहां के लोगों ने अलग-अलग कमियां बताई हैं। जो लोग मारे गए, उनके परिजन ने भी कमियां बताई हैं। कहीं ना कहीं बड़े पैमाने पर गलती हुई है। दोषियों को दंडित किया जाना चाहिए।
उत्तर प्रदेश के ऊर्जा मंत्री श्रीकांत शर्मा ने ट्वीट किया है, 'केन्द्र ने हादसे की जांच के लिए समिति गठित की है। एनटीपीसी के एग्जिक्यूटिव डायरेक्टर की अध्यक्षता में समिति 30 दिन में रिपोर्ट देगी।' हादसा पीड़ितों के लिए एनटीपीसी, केन्द्र और राज्य की ओर से घोषित अनुग्रह राशि के बारे में जानकारी देते हुए शर्मा ने ट्वीट किया है, ‘‘एनटीपीसी में हुए हादसे में मृतकों के आश्रितों को 20 लाख, गंभीर रूप से घायलों को 10 लाख व घायलों को 2 लाख रुपए अनुग्रह राशि दी जाएगी।
उन्होंने लिखा है, 'पीएम मोदी ने ऊंचाहार हादसे के मृतकों के आश्रितों को 2 लाख रुपए, घायलों को 50 हजार रुपए अतिरिक्त अनुग्रह राशि की घोषणा की है।' उन्होंने लिखा है, 'योगी सरकार भी मृतकों के आश्रितों को 2 लाख रुपए, घायलों को निःशुल्क इलाज के साथ 50 हजार व 25 हजार रुपए की अतिरिक्त राशि दे रही है।'
मालूम हो कि ऊंचाहार स्थित एनटीपीसी के 500 मेगावाट क्षमता वाले संयंत्र का बॉयलर फटने से अब तक 26 लोगों की मौत हुई है। राष्ट्रीय आपदा राहत बल (एनडीआरएफ) की टीम अब भी दुर्घटनास्थल पर खोजबीन कर रही है। माना जा रहा है कि मलबे में अभी कुछ और शव दबे हो सकते हैं।
रायबरेली के मुख्य चिकित्सा अधिकारी डी. के. सिंह ने बताया कि हादसे में घायल 63 लोगों का जिला अस्पताल तथा लखनऊ के ट्रामा सेंटर में इलाज किया जा रहा है।
इस बीच, एनटीपीसी के आंचलिक अधिकारी आर. एस. राठी ने बताया कि गम्भीर रूप से घायल लोगों को इलाज के लिए तुरन्त अस्पताल पहुंचाने के लिए दिल्ली स्थित अपोलो तथा मेदांता अस्पतालों से एयर एम्बुलेंस बुलाई गई हैं। (भाषा)