कांग्रेस की राष्ट्रीय प्रवक्ता सुप्रिया श्रीनेत ने देश में महंगाई और बेरोजगारी के मुद्दों का जिक्र करते हुए कहा, आज की कहानी पीपली लाइव के गाने में संशोधन के साथ है- सखी सैंया तो नईखे (नहीं) कमात हैं, महंगाई डायन मारे जात है।
उन्होंने दावा किया, प्रधानमंत्री मोदी विपक्ष में रहकर बहुत बड़ी-बड़ी बात करते थे मगर आज उन्होंने ही जनता को महंगाई के बोझ तले दबा दिया है। आज जब 45 वर्षों में सबसे अधिक बेरोजगारी है और आय घट गई है तब देश को महंगाई तले रौंदा जा रहा है। पिछले आठ वर्षों में मोदी सरकार का रिकॉर्ड इस सच्चाई को उजागर करता है।
श्रीनेत ने कहा कि यह महंगाई पेट्रोल-डीज़ल तक ही सीमित नहीं है। आटे, दाल, चावल, दूध, दही और लस्सी के दामों में भी आग लगी है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री ने इन वस्तुओं पर जीएसटी लगा दी और हर बार की तरह जब पकड़े गए तो ठीकरा गलत तरीके से राज्य सरकारों के सिर पर फोड़ दिया।
उन्होंने आरोप लगाया, प्रधानमंत्री मोदी ने वर्ष 2019 के लोकसभा चुनाव में लोगों से वोट लेने के लिए उज्ज्वला योजना का खूब प्रचार किया लेकिन चुनाव के तुरंत बाद उन्होंने संवेदनहीनता दिखाते हुए रसोई गैस पर सब्सिडी को ख़त्म कर दिया।
उन्होंने दावा किया कि नोटबंदी और जल्दबाज़ी में लागू की गई जीएसटी कर प्रणाली पहले ही अर्थव्यवस्था को बड़ा गहरा आघात पहुंचा चुकी थी, इस सबके ऊपर मोदी सरकार सार्वजनिक उपक्रमों को बंद कर रही है, उनका निजीकरण कर रही है और बहुमूल्य राष्ट्रीय परिसंपत्तियां अपने पूंजीपति मित्रों को हस्तांतरित कर रही है।(भाषा)