हैकरों ने साइबर सुरक्षा शोधकर्ता राजशेखर राजहरिया के एक ट्वीट के जवाब में इन वेब पेज के कुछ लिंक साझा किए हैं और मीडिया संगठनों को इसे टैग किया है। इस बारे भारतीय सेना को भेजे गए सवाल का जवाब नहीं मिला है। हालांकि सेना के एक अधिकारी ने कहा कि हमें इस तरह की सूचना की कोई जानकारी नहीं है। लेकिन ऐसा लगता है कि कुछ निहित स्वार्थी तत्वों ने गलत मंशा से ऐसा किया है।
इस बारे में संपर्क करने पर भारती एयरटेल के प्रवक्ता ने अपने सर्वर में किसी तरह की सेंध से इंकार करते कहा कि हम इस बात की पुष्टि कर सकते हैं कि एयरटेल की प्रणाली में कोई सेंध नहीं लगी है, जैसा कि इस समूह ने दावा किया है। नियामकीय जरूरत के हिसाब से एयरटेल के बाहर के कई अंशधारकों की डेटा तक पहुंच होती है। हमने संबंधित अधिकारियों को इस मामले की जानकारी दे दी है। हमने उनसे इस मामले की जांच करने और उचित कार्रवाई करने को कहा है।
प्रवक्ता ने कहा कि यह समूह पिछले 15 माह से हमारी टीमों के संपर्क में है और लगातार विरोधाभासी दावे कर रहा है। समूह एक क्षेत्र से गलत डेटा पोस्ट कर रहा है। हैकर द्वारा शेयर किए गए लिंक पर ग्राहकों के नाम, मोबाइल नंबर और पते के आधार पर पहुंचा जा सकता था लेकिन कुछ समय बाद इसने काम करना बंद कर दिया।