भारतीय राष्ट्रीय अंतरिक्ष संवर्धन और प्राधिकरण केंद्र (इन-स्पेस) द्वारा घोषित अंतरिक्ष प्रक्षेपणों के लिए एकीकृत लॉन्च घोषणा पत्र में गगनयान मिशन से संबंधित सात प्रक्षेपण, इसरो के नवीनतम रॉकेट-लघु उपग्रह प्रक्षेपण यान (एसएसएलवी) और उद्योग संघ द्वारा विकसित वॉरहॉर्स पीएसएलवी के दो-दो प्रक्षेपण शामिल हैं।
चेन्नई स्थित अग्निकुल कॉसमॉस चालू वित्त वर्ष की चौथी तिमाही के लिए अपना पहला 3-डी मुद्रित रॉकेट अग्निबाण-एसओआरटीईडी लॉन्च करने वाला है। अग्निबाण रॉकेट की पहली उड़ान एक उप-कक्षीय मिशन होगी। इस वित्तीय वर्ष में अन्य प्रक्षेपणों में मौसम पूर्वानुमान, आपदा प्रबंधन और मौसम संबंधी सेवाओं के लिए इनसैट-3डीएस उपग्रह को कक्षा में स्थापित करने के लिए जीएसएलवी-एफ14 शामिल है।
इन-स्पेस ने कहा कि एसएसएलवी की तीसरी प्रायोगिक उड़ान भी मार्च तक होने की उम्मीद है और यह भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) के एक प्राथमिक उपग्रह और दो अन्य पेलोड, स्पेस रिक्शा और आईआईटीएमसैट को ले जाएगी। अगले वित्त वर्ष के दौरान एयरोस्पेस द्वारा देश में निर्मित रॉकेट विक्रम-1-1 के चार प्रक्षेपण करने की संभावना है, जबकि अग्निकुल कॉसमॉस ने अग्निबाण के दो लॉन्च की योजना बनाई है।
इसरो 2024-25 में पीएसएलवी और जीएसएलवी के तीन-तीन मिशन और परीक्षण वाहन सहित गगनयान परियोजना से संबंधित सात प्रक्षेपण करेगा। इसरो की वाणिज्यिक शाखा, न्यूस्पेस इंडिया लिमिटेड द्वारा पीएसएलवी के चार प्रक्षेपण, एक एलवीएम-3 मिशन और एसएसएलवी के दो प्रक्षेपण किए जाने की संभावना है।
दिगंतरा रिसर्च एंड टेक्नोलॉजी, ध्रुवस्पेस, स्पेस किड्ज इंडिया जैसे कुछ स्टार्ट-अप और भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आईआईटी)-मद्रास, मणिपाल इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी और सीवी रमन ग्लोबल यूनिवर्सिटी ओडिशा जैसे शैक्षणिक संस्थानों ने अगले वित्तीय वर्ष के दौरान प्रक्षेपण की योजना बनाई है। (भाषा)
Edited By : Chetan Gour फोटो सौजन्य : टि्वटर/एक्स