सिद्धू ने अकाल तख्त से मांगी लिखित माफी

सोमवार, 22 दिसंबर 2014 (22:53 IST)
अमृतसर। क्रिकेटर से नेता बने और भाजपा के पूर्व सांसद नवजोत सिंह सिद्धू ने गुरुबाणी विवाद पर अकाल तख्त से सोमवार को यह कहते हुए लिखित माफी मांग ली कि उनके लिए उनका धर्म सबसे अधिक पवित्र है।
माफीनामा मिलने की पुष्टि करते हुए अकाल तख्त के प्रमुख गुरबचन सिंह ने कहा, हमें सिद्धू के समर्थकों में से एक के जरिए भिजवाया गया उनका माफीनामा मिला है। सिद्धू ने अपने माफीनामे में कहा, अगर उन्होंने जाने-अनजाने में ईशनिंदा का कोई कृत्य किया है, जिससे किसी की भावना आहत हुई है तो वे हाथ जोड़कर एक बार नहीं बार-बार माफी मांगते हैं। 
 
सिंह ने कहा, उनके लिखित माफीनामे की किस्मत पर फैसला सिखों के मुख्य ग्रंथियों की अगली बैठक में किया जाएगा, जिसका (तारीख का) निर्धारण किया जाना अभी बाकी है। 
 
कुछ दिन पहले सिद्धू के काफिले पर जम्मू में चुनाव प्रचार के दौरान हमला किया गया जब वे गांधीनगर विधानसभा क्षेत्र से भाजपा के उम्मीदवार कवींद्र गुप्ता के पक्ष में भोर कैंप इलाके में प्रचार कर रहे थे। उनके वाहन के शीशे टूट गए हालांकि सिद्धू को कोई चोट नहीं आई।
 
इसके बाद, एक तबके ने जम्मू में सिद्धू के काफिले पर हमले की वजह उनके ईशनिंदात्मक कृत्य को बताया। आरोप लगा कि उन्होंने कथित तौर पर लुधियाना में एक जनसभा के दौरान ईशनिंदा की थी, जब उन्होंने गलती से गुरु अर्जन देवजी के शब्दों को महाभारत के अर्जुन का बता दिया था।
 
हालांकि कुछ दिन पहले सिद्धू ने कहा था, नवजोत सिंह सिद्धू हमेशा ईश्वर का विनम्र सेवक रहा है और हर दिन अकाल तख्त साहिब के आगे शीश झुकाता है। अगर मैंने कभी किसी सिख की भावना को आहत किया है तो मैं हरेक सिख और पवित्र अकाल तख्त से लाख बार माफी मांग सकता हूं। 
 
उन्होंने कहा, मेरा धर्म मेरे लिए सबसे पवित्र है और मेरा जीवन श्री गुरु ग्रंथ साहिब की शिक्षाओं से चलता है। मैंने बादल साहब (पंजाब के मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल) की तरह कभी भी धर्म का इस्तेमाल निजी हितों या व्यक्तिगत हिसाब-किताब बराबर करने के लिए नहीं किया है। बादल साहब धर्म की आड़ में राजनीतिक खेल खेलने के लिए प्रसिद्ध हैं। 
 
सिद्धू और उनकी विधायक पत्नी नवजोत कौर अकालियों के आलोचक रहे हैं। वे खासतौर पर बादल परिवार के आलोचक रहे हैं। सिद्धू की पत्नी भाजपा की विधायक हैं। (भाषा)

वेबदुनिया पर पढ़ें