कांग्रेस, जदयू, सपा समेत 28 विपक्षी दलों के नेता आज संसद में काले कपड़ों में पहुंचे हैं। संसद भवन में मल्लिकार्जुन खरगे के चैंबर में विपक्षी गठबंधन I.N.D.I.A की बैठक हुई। इसमें कहा गया कि मोदी सरकार मणिपुर पर चर्चा नहीं चाहती और प्रधानमंत्री इस मुद्दे पर मौन साधे हुए हैं। इंडिया चाहता है कि मणिपुर पर चर्चा हो और प्रधानमंत्री इस पर विस्तृत बयान दें।
कांग्रेस सांसद अधीर रंजन चौधरी ने कहा कि हमारी मांग थी कि प्रधानमंत्री खुद आकर बोले। पता नहीं क्यों प्रधानमंत्री नहीं बोल रहे हैं। हमें मजबूरन अविश्वास प्रस्ताव लाना पड़ा। ये हमारी मजबूरी है। हम जानते हैं कि इससे सरकार नहीं गिरेगी, पर हमारे पास कोई चारा नहीं है। देश के प्रधानमंत्री देश के सामने आकर मणिपुर पर कोई वार्ता करें।
सपा नेता राम गोपाल यादव ने कहा कि कोई विरोध प्रदर्शन नहीं होगा। हर कोई काले कपड़े पहनेगा या अपनी बांह पर काला कपड़ा बांधेगा। हम चिंतित हैं क्योंकि मणिपुर की सीमा म्यांमार से लगती है, जहां सैन्य शासन है और आतंकवादियों को पनाह देता है।
केंद्रीय मंत्री प्रह्लाद जोशी ने कहा कि कांग्रेस पार्टी ने बिना किसी विपक्षी पार्टी से बातचीत किए अविश्वास प्रस्ताव दिया है। अविश्वास प्रस्ताव लाने से और काले कपड़े पहनने से कुछ नहीं होगा, बाद में काला पहनकर ही घूमना पड़ेगा। हमारे गृह मंत्री 3 दिन के लिए मणिपुर गए थे।
BAC की बैठक का बहिष्कार : प्रधानमंत्री द्वारा मणिपुर हिंसा पर संसद में बयान नहीं देने के विरोध में विपक्षी दलों का गठबंधन इंडिया (इंडियन नेशनल इन्क्लूसिव डेवलपमेंटल अलायन्स) राज्यसभा के कामकाज के सिलसिले में गुरुवार को सुबह होने वाली होने वाली कार्य मंत्रणा समिति (बीएसी) की बैठक का बहिष्कार कर सकता है।
राज्यसभा बीएसी में पदेन सभापति के रूप में उपराष्ट्रपति सहित 11 सदस्य होते हैं। 26 सदस्यीय इंडिया के तीन सांसद बीएसी समिति में हैं। तीनों सांसद क्रमश: कांग्रेस, राष्ट्रीय जनता दल (राजद) और तृणमूल कांग्रेस से हैं।