टेक्सास गोलीबारी : प्रियंका चोपड़ा, सेलेना गोमेज ने सख्त शस्त्र कानून की आवश्यकता जताई

गुरुवार, 26 मई 2022 (00:03 IST)
मुंबई। टेक्सास के स्कूल में हुई गोलीबारी की घटना के बाद प्रियंका चोपड़ा, सेलेना गोमेज, टेलर स्विफ्ट, आर माधवन जैसी फिल्मी दुनिया की दिग्गज हस्तियों ने अमेरिका में सख्त शस्त्र कानून की आवश्यकता जताई है। दुनियाभर की मशहूर फिल्मी हस्तियों ने अमेरिकी सरकार से आग्रह किया कि देश में बड़े पैमाने पर सामने आ रहीं गोलीबारी की घटनाओं पर लगाम लगाने का समाधान तलाश करें।

अमेरिका में टेक्सास राज्य के एक प्राथमिक स्कूल में एक 18 वर्षीय बंदूकधारी ने अंधाधुंध गोलीबारी करके 19 बच्चों समेत 21 लोगों की हत्या कर दी, वहीं कई अन्य इस घटना में घायल हो गए। पुलिस ने हमलावर को भी मार गिराया है।

अधिकारियों ने कहा कि सैन एंटोनियो से 134 किलोमीटर दूर टेक्सास के उवाल्डे शहर के रॉब एलीमेंट्री स्कूल में मंगलवार पूर्वाह्न करीब साढ़े 11 बजे गोलियों की आवाजें सुनाई दीं। टेक्सास के गवर्नर ग्रेग एबॉट ने बताया कि हमलावर की पहचान साल्वाडोर रामोस के रूप में हुई है, जो स्कूल के पास के एक इलाके का रहने वाला था। अभी यह स्पष्ट नहीं हो पाया है कि हमला क्यों किया गया।

घटना पर रोष व्यक्त करते हुए अभिनेत्री एवं गायिका सेलेना ने कहा कि अगर बच्चे स्कूल में ही सुरक्षित नहीं हैं तो वे कहां सुरक्षित होंगे। सेलेना ने कहा, आज मेरे गृह राज्य में पढ़ाई के दौरान 18 निर्दोष छात्रों की हत्या कर दी गई। एक शिक्षिका को भी अपना कर्तव्य निभाते हुए मार दिया गया। यह बेहद निराशाजनक है, और मैं नहीं जानती कि इससे ज्यादा क्या कहूं।

उन्होंने कहा कि भविष्य में इस तरह की घटनाओं को रोकने के लिए कानून में बदलाव की जरूरत है। गायिका टेलर स्विफ्ट ने कहा कि अमेरिका में एक और गोलीबारी की घटना की खबर सुनकर वह गुस्से और दुख से भर गई हैं। टेलर ने हाल में अमेरिका में हुईं अन्य गोलीबारी की घटनाओं का जिक्र करते हुए कहा, एक राष्ट्र के रूप में हम असहनीय तकलीफों के आदी हो गए हैं।

वहीं अभिनेत्री प्रियंका चोपड़ा ने इंस्टाग्राम पर एक समाचार क्लिप साझा की और कहा, केवल शोक व्यक्त करना ही काफी नहीं है। इससे आगे बढ़कर बहुत कुछ करने की जरूरत है। बेहद दुखद। अभिनेता माधवन ने ट्वीट कर कहा, वाकई दिल दहला देने वाला। इसका एक स्पष्ट समाधान होना चाहिए।

अभिनेत्री स्वरा भास्कर ने भी घटना को भयावह और दुखद करार देते हुए सवाल उठाया कि पूर्व में हुई इस तरह की घटनाओं के बावजूद अमेरिका के शस्त्र कानून में कोई संशोधन क्यों नहीं किया गया।(भाषा)

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