मिश्रा ने कहा कि सहारनपुर एक शांत जिला है, इस जिले की अपनी परंपरा रही है। कुछ वर्षों में यहां कुछ घटनाएं घटीं, लेकिन बहुत जल्दी ही वे सामान्य हो गईं। पिछले 1 महीने से अधिक समय में 20 अप्रैल, 5 मई, 9 मई, 23 मई को यहां जो घटनाएं घटीं, उसने इस जिले के शांतिप्रिय वातावरण को प्रभावित किया।
मिश्रा ने कहा कि यहां 20 अप्रैल के बाद से हुई घटनाओं में उग्रता की पराकाष्ठा देखी गई और ऐसा महसूस किया गया कि कहीं न कहीं पुलिस प्रशासन की कार्यप्रणाली में कमी रही। उसी का परिणाम है कि 24 घंटे के भीतर यहां प्रशासनिक स्तर पर नई टीम भेजी गई, जो पूरे मामले की समीक्षा करते हुए इस माहौल को शांत और सामान्य करने में जुटी है।
उन्होंने कहा कि वे यहां आकर शब्बीरपुर के वृद्धजनों, महिलाओं, बच्चों से मिले और ऐसे तथ्य भी सामने आए कि 80 वर्षीय एक वृद्धजन तो कहीं 14 वर्षीय बालक के विरुद्ध प्राथमिकी दर्ज है। इसके लिए विवेचना की जाएगी और हर प्रकरण में जायज-नाजायज, सत्य-असत्य, प्रमाण अप्रमाणित सभी तथ्यों पर प्रमाणिक कार्रवाई की जाएगी।
प्रमुख गृह सचिव का ध्यान इस ओर दिलाया गया कि गुरुवार को कांग्रेस नेता शैलजा को शब्बीरपुर नहीं जाने दिया गया जबकि देवबंद विधायक बृजेश सिंह सीधे शब्बीरपुर चले गए। इस पर गृह सचिव ने कहा प्रशासन ने किसी भी राजनेता के शब्बीरपुर जाने पर प्रतिबंध लगाया हुआ है और यदि ऐसा हुआ है तो इसकी जांच कराकर लापरवाही बरतने वाले के विरुद्ध कार्रवाई होगी।
भीम आर्मी के नेता चन्द्रशेखर आजाद की गिरफ्तारी के संबंध में मिश्रा ने कहा कि बहुत जल्दी चन्द्रशेखर को गिरफ्तार किया जाएगा। सहारनपुर में सोशल मीडिया पर लगाई गई पाबंदी के संबंध में मिश्रा ने कहा कि सोशल मीडिया का कुछ शरारती तत्व दुरुपयोग कर रहे थे जिस कारण यह रोक लगाई गई लेकिन इस रोक से हो रही परेशानी का उन्हें खेद है और बहुत जल्दी ही इस रोक को हटा लिया जाएगा। (एजेंसी)