एक महिला का यह 'उपहार' देखकर पानी-पानी हो जाएंगे नरेन्द्र मोदी

शुक्रवार, 12 मई 2017 (14:17 IST)
नई दिल्ली। 56 इंच का विशेषण यदि किसी व्यक्ति के साथ जुड़ा हुआ है तो वे हैं भारत के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी। इस विशेषण के लेकर जहां उनकी आलोचना भी होती है, वहीं उनके समर्थक उनकी तारीफ में कसीदे भी पढ़ते हैं। ताजा मामले में एक पूर्व फौजी की बीवी ने मोदी को गुस्से में 56 इंच की चोली भेज दी है। चिट्‍ठी और चोली भेजने वाली महिला हरियाणा के फतेहाबाद जिले की रहने वाली है। 
 
दरअसल पूर्व सैनिक की पत्नी का गुस्सा कश्मीर में सैनिकों के साथ हो रहे व्यवहार को लेकर है। कश्मीर में सैनिकों पर पत्थरबाजी और पाक सैनिकों द्वारा सैनिकों के सिर काट लिए जाने से सुमन नामक पूर्व सैनिक की पत्नी का गुस्सा फट पड़ा है। हरियाणा के फतेहाबाद जिले के बिसला गांव के पूर्व सैनिक धर्मवीर काजला की पत्नी सुमन काजला ने गुरुवार को प्रधानमंत्री के नाम एक पत्र लिखते हुए उनके 56 इंच के सीने के लिए विरोध स्वरूप 56 इंच की चोली (महिला अंत:वस्त्र) भेज है।
 
धर्मबीर काजला सेना की जाट रेजीमेंट में बतौर हवलदार तैनात थे और उन्हें 1997 और 2003 में राष्ट्रपति के द्वारा सेना मेडल सम्मानित भी किया जा चुका है। धर्मवीर और अपनी पत्नी सुमन गुरुवार को फतेहाबाद स्थित जिला सैनिक बोर्ड कार्यालय पहुंचे, जहां सुमन ने अधिकारियों को एक पत्र और 56 इंच की चोली थमाते हुए इसे प्रधानमंत्री को भेजने के लिए कहा।
 
क्या है सुमन की मांग : कश्मीर में सैनिकों के शवों को क्षत-विक्षत करते की घटना से नाराज सुमन की मांग है कि अब बहुत हो गया, सरकार को सैनिकों के हाथ खोल देने चाहिए ताकि वे पत्थरबाजों को माकूल जवाब दे सकें। सुमन का कहना है कि पहले सैनिक के शहीद होने की बात से उनके परिवार का सिर गर्व से ऊंचा हो जाता था, लेकिन अब यह डर रहता है कि कश्मीर में कोई हमारे सैनिकों को लात मारेगा, कोई पत्थर मारेगा या सिर काट के ले जाएगा। महिला ने कहा कि वे पत्र और चोली के माध्यम से पीएम को चुनाव से पहले उनके 56 इंच के सीने की बात को याद दिलाना चाहती हैं। 
 
क्या लिखा है सुमन ने चिट्‍ठी में :  सुमन ने पत्र में लिखा है कि पिछले दिनों कुछ वीडियो और खबरों में सैनिकों को कुछ एक आंतकियों द्वारा बेइज्जत किया जा रहा है। लातें मारी जा रही हैं पत्थर मारे जा रहे हैं, सैनिकों के सिर तक काट कर ले गए। भाजपा की सरकार बनने से पहले प्रधानमंत्री जी आपने बड़ी-बड़ी बातें की थीं कि एक के बदले 10 सिर काटकर लाने चाहिए, प्रेम पत्र नहीं लिखना चाहिए, दुश्मन को उसी की भाषा में जबाब देना चाहिए। इन्हीं बातों से प्रभावित होकर देश की जनता ने बहुमत से सरकार बना दी। तब लगा था कि देश के दुश्मनों को तो सबक सिखाया जा सकेगा अब कोई हेमराज की तरह शहीद नहीं होगा दुश्मन ऐसा करने की सोच भी नहीं सकेगा, लेकिन ऐसे हादसे कई बार हो गए और प्रधानमंत्री जी दुश्मनों को कभी शाल भेंट कर रहे हो कभी उनके साथ चाय पीने और बधाई देने चले जाते हो ऐसी शर्मनाक घटना होने पर वही पहले वाली सरकार की तरह कड़े शब्दों में निन्दा, सख्त धमकी और बातों-बातों करारा जबाब दे देते हो और सैनिकों के हाथ बंधे लग रहे हैं।

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