कौन है हिन्दू? हम हिन्दू नहीं बनना चाहते, द्रमुक सांसद राजा के बयान पर बवाल

Webdunia
मंगलवार, 13 सितम्बर 2022 (14:47 IST)
चेन्नई। हिन्दू धर्म को लेकर तमिलनाडु की सत्तारूढ़ पार्टी द्रविड़ मुनेत्र कषगम (DMK) के सांसद एवं पूर्व केन्द्रीय मंत्री ए. राजा ने हिन्दू धर्म पर विवादित बयान देकर बवाल खड़ा कर दिया है। उन्होंने एक सभा में कहा कि हम हिन्दू नहीं बनना चाहते, आप मुझे हिन्दू के रूप में क्यों देखना चाहते हैं। राजा के बयान पर भाजपा ने भी कड़ी आपत्ति जताई है।  
 
दरअसल, राजा एक वीडियो वायरल हो रहा है, जिसमें वह हिन्दू धर्म के बारे में बोलते दिखाई दे रहे हैं। डीएमके द्वारा आयोजित सभा को संबोधित करते हुए राजा ने पूछा कि हिंदू कौन है? उन्होंने कहा कि हमें दावा करने का अधिकार होना चाहिए। हम हिंदू नहीं बनना चाहते, आप मुझे हिंदू के रूप में क्यों देख रहे हैं?
 
राजा ने कहा कि शूद्र कौन हैं? क्या वे हिंदू नहीं हैं? मनुस्मृति में उनका अपमान क्यों किया गया? उन्हें समानता, शिक्षा, रोजगार और मंदिर में प्रवेश से वंचित कर दिया गया। द्रमुक नेता ने कहा कि आप हिंदू नहीं हैं, तब तक जब तक आप पंजायथु (दलित) हैं और अछूत हैं। उन्होंने वहां मौजूद लोगों से सवाल किया कि आप में से कितने लोग अछूत बने रहना चाहते हैं? यहां तक कि उन्होंने शूद्रों को वेश्याओं की संतान कहा। 
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Who are Sudras? Are they not Hindus? Why they have been insulted in Manusmrithi denied equality, education, employment and Temple entry. Dravidian Movement as saviour of 90% Hindus questioned and redressed these, cannot be anti-Hindus.

— A RAJA (@dmk_raja) September 13, 2022 >
राजा यहीं नहीं रुके। उन्होंने सुप्रीम कोर्ट पर भी सवाल उठा दिए। उन्होंने कहा कि कर्नाटक में लिंगायत खुद को हिंदू घोषित न करने के लिए कह रहे हैं, लेकिन सुप्रीम कोर्ट कह रहा है कि अगर आप ईसाई, मुस्लिम या फारसी नहीं हैं, तो आप हिंदू हैं। क्या किसी और देश में इतनी क्रूरता है?
 
भाजपा की तीखी प्रतिक्रिया : भाजपा महिला मोर्चा की राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं कोयंबटूर से सांसद वनथी श्रीनिवास ने राजा के बयान पर ट्‍वीट कर कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा कि द्रमुक सांसद राजा ने कई बार महिलाओं और हिंदुओं का अपमान किया है। इस बार भी उन्होंने यह कहते हुए जहर उगला है कि शूद्र वेश्याओं की संतान हैं और वे तब तक रहेंगे, जब तक वे हिंदू धर्म में रहेंगे।