4 जून 1958 को सुलतानपुर (उ.प्र.) में जन्म। हिन्दी और संस्कृत में प्रथम श्रेणी एम.ए.। लोकप्रिय कवि और मंच संचालक। दो काव्य संग्रह 'दिल की बातें' और 'खुशबू की लकीरें' प्रकाशित। फ़िल्म 'पिंजर', 'हासिल' और 'कहाँ हो तुम' के अलावा सीरियलों में भी गीत लिखे हैं। आपके द्वारा संपादित सांस्कृतिक निर्देशिका 'संस्कृति संगम' ने मुम्बई के रचनाकारों को एकजुट करने में अहम भूमिका निभाई है। संप्रति- केंद्रीय सरकारी कार्यालय में सेवारत।
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हिन्दी इस देश का गौरव है हिन्दी भविष्य की आशा है हिन्दी हर दिल की धड़कन है हिन्दी जनता की भाषा है
इसको कबीर ने अपनाया मीराबाई ने मान दिया आजादी के दीवानों ने इस हिन्दी को सम्मान दिया
जन-जन ने अपनी वाणी से हिन्दी का रूप तराशा है
हिन्दी हर क्षेत्र में आगे है इसको अपनाकर नाम करें हम देशभक्त कहलाएँगे जब हिन्दी में सब काम करें
हिन्दी चरित्र है भारत का, नैतिकता की परिभाषा है
हिन्दी हम सबकी ख़ुशहाली हिन्दी विकास की रेखा है हिन्दी में ही इस धरती ने हर ख्वाब सुनहरा देखा है