Maha Kumbh : महाकुंभ में रविवार को 1.36 करोड़ लोगों ने संगम में लगाई डुबकी, 52.83 करोड़ पहुंचा आंकड़ा, ऐसे किया गया क्राउड मैनेजमेंट

वेबदुनिया न्यूज डेस्क

रविवार, 16 फ़रवरी 2025 (22:04 IST)
महाकुंभ में अमृत स्नान पर्व और अन्य स्नान पर्व माघी पूर्णिमा बीत जाने के बाद भी आस्था का जनसैलाब थमने का नाम नहीं ले रहा है और रविवार को शाम 6 बजे तक 1.36 करोड़ श्रद्धालुओं ने गंगा और संगम में स्नान किया। मेला प्रशासन द्वारा जारी आंकड़ों के मुताबिक रविवार को शाम छह बजे तक 1.36 करोड़ श्रद्धालुओं ने महाकुंभ में स्नान किया, जबकि 13 जनवरी से अब तक 52.83 करोड़ लोग महाकुंभ में स्नान कर चुके हैं।
 
इस बीच, रविवार को महाकुंभ का हवाई सर्वेक्षण करने के बाद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अधिकारियों के साथ महाकुंभ मेला में यातायात और अन्य सुविधाओं की समीक्षा की और प्रयागराज आ रहे सभी श्रद्धालुओं से यातायात व्यवस्था को सुचारू बनाए रखने में सहयोग करने की अपील की।
 
सरकार द्वारा जारी एक बयान के मुताबिक मुख्यमंत्री ने श्रद्धालुओं से अनुरोध किया कि वे अपने वाहनों को सड़कों पर खड़ा ना करें, बल्कि निर्धारित पार्किंग स्थलों का उपयोग करें। योगी आदित्यनाथ ने विभिन्न धार्मिक एवं सामाजिक संस्थाओं से भंडारे और प्रसाद वितरण की पवित्र व्यवस्था को अनवरत जारी रखने की भी अपील की।
 
प्रयागराज में महाकुंभ मेले में सभी दिशाओं से आ रहे श्रद्धालुओं की भारी भीड़ को देखते हुए जिलाधिकारी ने 17 से 20 फरवरी तक ग्रामीण एवं नगर क्षेत्र में स्थित कक्षा एक से आठ तक के समस्त परिषदीय, राजकीय, सहायता प्राप्त और अन्य समस्त बोर्ड से मान्यता प्राप्त अंग्रेजी एवं हिंदी माध्यमों के विद्यालयों में ऑनलाइन कक्षाएं चलाने का निर्देश दिया है।
 
उल्लेखनीय है कि शनिवार को 1.36 करोड़ श्रद्धालुओं ने महाकुंभ में स्नान किया, जबकि इससे पूर्व शुक्रवार को करीब एक करोड़ श्रद्धालुओं ने स्नान कर महाकुंभ में स्नान करने वाले कुल श्रद्धालुओं की संख्या को 50 करोड़ के पार पहुंचाया था।
ALSO READ: delhi stampede : कब-कब हुई भगदड़ की बड़ी घटनाएं, डराने वाले इन आंकड़ों को देखिए
प्रोटोकॉल का सख्ती से पालन : महाकुंभ में देश के हर कोने से पहुंच रही भारी भीड़ और शनिवार को नयी दिल्ली रेलवे स्टेशन पर हुई भगदड़ की घटना को देखते हुए प्रयागराज, वाराणसी, अयोध्या, कानपुर और मिर्जापुर समेत धार्मिक आस्था से जुड़े नगरों के रेलवे स्टेशनों पर पूर्व में जारी प्रोटोकॉल का सख्ती से पालन सुनिश्चित किया जा रहा है।
 
उत्तर मध्य रेलवे के मुख्य जनसंपर्क अधिकारी शशिकांत त्रिपाठी ने पीटीआई से कहा, ‘‘हम पूर्व में जारी प्रोटोकॉल का ही सख्ती से क्रियान्वयन सुनिश्चित कर रहे हैं। हमने मौनी अमावस्या, बसंत पंचमी जैसे स्नान पर्वों को सफलतापूर्वक संपन्न कराया है और आगे भी यही प्रोटोकॉल जारी रहेगा।’’
 
उन्होंने बताया कि इस प्रोटोकॉल के तहत प्रयागराज जंक्शन पर शहर की तरफ से प्रवेश और सिविल लाइंस की तरफ से निकासी कराई जा रही है और ट्रेन प्लेटफॉर्म पर आने तक यात्रियों को ‘होल्डिंग एरिया’ में रोककर रखा जाता है।
 
प्रयागराज जंक्शन पर तैनात आरपीएफ के निरीक्षक शिव कुमार ने बताया कि प्रयागराज जंक्शन पर भीड़ नियंत्रण में है। उत्तर पूर्व रेलवे के वाराणसी मंडल के जनसंपर्क अधिकारी अशोक कुमार ने बताया कि झूंसी और रामबाग स्टेशन पर भी पूर्व के प्रोटोकॉल का पालन किया जा रहा है और ट्रेन आने तक यात्रियों को सुरक्षा क्षेत्र में रोककर रखा जा रहा है।
 
वाराणसी रेलवे जंक्शन पर सुरक्षा व्यवस्था को और सख्त कर दिया गया है। स्टेशन निदेशक अर्पित गुप्ता ने कहा, “हम कुंभ के पहले दिन से ही भीड़ को लेकर पूरी तरह से सतर्कता बरत रहे हैं, जिसे हमने कल की घटना (दिल्ली हादसा) के बाद बढ़ा दिया है।”
 
गुप्ता ने कहा, “स्टेशन के आसपास वाहनों के प्रवेश पर रोक लगा दी गई है। स्टेशन परिसर में जगह-जगह अवरोधक लगाए गए हैं। जब हमें लगता है कि प्लेटफॉर्म पर भीड़ बढ़ रही है तो अवरोधक लगाकर भीड़ को बाहर ही रोक दिया जाता है।”
 
उन्होंने कहा कि स्टेशन के गेट पर पर्याप्त मात्रा में सुरक्षाबल मौजूद रहता है जो प्लेटफॉर्म पर ज्यादा भीड़ होने पर लोगों बाहर ही रोक देता है। उन्होंने कहा कि स्टेशन परिसर में पर्याप्त मात्रा में सीसीटीवी कैमरे लगाए गए हैं, जिससे 24 घंटे अधिकारी नजर रखे हुए है।
 
गुप्ता ने कहा कि ज्यादा भीड़ नजर आने पर सुरक्षाबल तुरंत भीड़ को नियंत्रित करते हैं। उन्होंने कहा, ‘‘हम यह विशेष ध्यान दे रहे हैं कि आने वाली ट्रेन का प्लेटफॉर्म बदलना न पड़े। यदि किसी कारणवश प्लेटफॉर्म बदलना भी पड़ता है तो हमारा प्रयास रहता है कि कम से कम डेढ़ घण्टे पहले हम यात्रियों को सूचना दे दें जिससे भगदड़ की स्थिति उत्पन्न न हो।’’
 
वाराणसी में बिहार के समस्तीपुर निवासी सुबोध कुमार ने बताया कि वह प्रयागराज से स्नान करके वापस आए हैं और अब वापस जाने के लिए स्टेशन पर अपनी ट्रेन का इंतजार कर रहे हैं। सुबोध ने बताया कि यात्रा में भीड़ तो ज्यादा है, पर रेलवे के इंतजाम से उन्हें कोई शिकायत नहीं है।
ALSO READ: NDLS Stampede: क्या यात्री का फिसलना या दो ट्रेनों के एक जैसे नाम, आखिर दिल्ली रेलवे स्टेशन पर कैसे मची भगदड़
नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर भगदड़ के बाद अयोध्या धाम और अयोध्या कैंट रेलवे स्टेशन पर सुरक्षा बढ़ा दी गई है। उद्घोषणा प्रणाली के माध्यम से तीर्थयात्रियों को जागरूक किया जा रहा है। तीर्थयात्रियों के आगमन और प्रस्थान के लिए अलग-अलग प्रवेश और निकास द्वार बनाए गए हैं। सुरक्षा के लिए राजकीय रेलवे पुलिस (जीआरपी) और रेलवे सुरक्षा बल (आरपीएफ) के जवानों को तैनात किया गया है।
 
उत्तर रेलवे के जनसंपर्क अधिकारी सुशील जयसवाल ने बताया कि अयोध्या रेलवे स्टेशनों पर कर्मचारियों और सुरक्षाकर्मियों की संख्या बढ़ा दी गई है तथा यात्रियों का सार्वजनिक संबोधन प्रणाली सहित जीआरपी और आरपीएफ कर्मियों द्वारा नियमित रूप से मार्गदर्शन किया जा रहा है।
 
उन्होंने बताया कि यात्री रेलवे स्टेशनों पर अलग-अलग प्रवेश और निकास द्वारों की मदद से आना-जाना कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि कुंभ से बड़ी संख्या में श्रद्धालु अयोध्या पहुंच रहे हैं।
 
झाँसी निवासी अनूप कुमार पांडेय ने कहा, ‘‘नई दिल्ली की भगदड़ की घटना को सुनने के बाद अभी मैं डर गया हूँ, लेकिन यहाँ अयोध्या रेलवे स्टेशन पर पहुँचने के बाद मैंने देखा कि रेलवे कर्मचारी काफी सतर्क हैं।”
 
अधिकारियों के अनुसार, अयोध्या में रेलवे अधिकारियों ने तीन-स्तरीय सुरक्षा प्रणाली लागू की है, जिसमें 300 से अधिक कर्मियों को तैनात किया गया है और 1.5 लाख यात्रियों की दैनिक भीड़ को प्रबंधित करने के लिए उन्नत स्क्रीनिंग उपाय और 200 से अधिक सीसीटीवी कैमरे लगाए गए हैं।
 
अयोध्या के आरपीएफ निरीक्षक यशवंत सिंह ने कहा कि आरपीएफ कर्मी व्यापक सीसीटीवी कवरेज के माध्यम से रेलवे स्टेशन पर कड़ी निगरानी रख रहे हैं। उन्होंने बताया कि रेलवे यात्रियों की भीड़ को देखते हुए रोजाना 12 से 15 विशेष ट्रेन चला रहा है।
 
भगदड़ के मद्देनजर सभी रेलवे स्टेशनों पर हाई अलर्ट जारी किए जाने के बाद कानपुर के जिलाधिकारी जितेंद्र प्रताप सिंह ने रविवार को यहां कानपुर सेंट्रल स्टेशन पर व्यापक सुरक्षा समीक्षा की।
 
निरीक्षण के दौरान रेलवे, रेलवे सुरक्षा बल (आरपीएफ), राजकीय रेलवे पुलिस (जीआरपी), कमिश्नरेट पुलिस और जिला प्रशासन से जुड़े अधिकारी भी साथ थे। पीटीआई-भाषा के साथ बातचीत में जिलाधिकारी ने कहा कि उन्होंने कानपुर सेंट्रल स्टेशन का निरीक्षण किया और टाटमिल से घंटाघर तथा साइड नंबर-1 समेत कनेक्टिंग सड़कों की भी जांच की।
 
उन्होंने कहा, ‘‘हमने सभी आगंतुकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के अलावा विशेष रूप से महाकुंभ तीर्थयात्रियों के लिए निवारक सुरक्षा उपायों के महत्व पर जोर दिया है।’’
 
निरीक्षण के दौरान जिलाधिकारी ने रेलवे अधिकारियों, आरपीएफ, जीआरपी और स्थानीय पुलिस को आगंतुकों के लिए सुरक्षा प्रोटोकॉल को और मजबूत करने का निर्देश दिया। उन्होंने रेलवे अधिकारियों से कहा कि प्रयागराज की ओर जाने वाली रेलगाड़ियों के आने से पहले प्लेटफॉर्म न बदलें।
 
मां विंध्यवासिनी धाम से जुड़े मिर्जापुर रेलवे स्टेशन पर अपेक्षाकृत भीड़ कम है, लेकिन दिल्ली में मची भगदड़ को ध्यान में रखते हुए मिर्ज़ापुर पुलिस प्रशासन ने भीड़ को नियंत्रित करने के लिए अतिरिक्त सावधानी बरती है। रेलवे स्टेशन के प्रवेश द्वार पर तैनात उपनिरीक्षक राम नगीना यादव ने कहा कि प्रयागराज की तरफ भीड़ कम हो गई है लेकिन उस तरफ से आने वाली भीड़ ज्यादा है। इनपुट भाषा Edited by : Sudhir Sharma

वेबदुनिया पर पढ़ें

सम्बंधित जानकारी