आयोग ने कहा है कि दोबारा आचार संहिता के उल्लंघन की शिकायत आने और सही पाए जाने पर उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। उन्हें चुनाव के दौरान उच्चतम न्यायालय तथा आयोग द्वारा निर्धारित आचार संहिता का पालन सुनिश्चित करने के लिए धर्म, जाति और समाज में खाई पैदा करने वाले बयान नहीं देने चाहिए।