क्या था मामला : मलयालम मॉडल और अभिनेत्री गिलु जोसेफ की फोटो गृहलक्ष्मी में छपी थी। इसमें जोसेफ एक नवजात दूध पिला रही हैं। तस्वीर के साथ के साथ लिखा था कि केरल की मांएं कह रही हैं, कृपया घूरे नहीं हमें ब्रेस्टफीड कराना हैं। मैगजीन पर फोटो छपने के बाद 27 साल की मॉडल और अभिनेत्री गिलू जोसेफ को सोशल मीडिया पर ट्रोल किया गया था। मैगजीन ने महिलाओं में स्वतंत्र रूप से ब्रेस्टफीड कराने को बढ़ावा देने के लिए कैंपेन चलाया था।
क्या थी कोर्ट की टिप्पणी : केरल हाईकोर्ट ने दलील दी कि किसी एक आदमी की अश्लीलता, दूसरों की नजरों में अच्छाई हो सकती है। मामले की सुनवाई चीफ जस्टिस एंटनी डोमिनिक और जस्टिस दमा शेषाद्रि नायडू की बैंच कर रही थी। कोर्ट ने 8 मार्च को ऑब्जर्व किया कि कामसूत्र, राजा रवि वर्मा की पेंटिंग्स और अजंता की मूर्तियों ने भारतीय कला को हमेशा आकर्षित किया है। बैंच ने कहा कि भारतीय मनोविज्ञान काफी परिपक्व है। हाईकोर्ट के अनुसार मैगजीन की कवर पेज पर कुछ भी ऐसा नहीं था, जो महिलाओं या पुरुषों के लिए आपत्तिजनक हो।