राजकपूर की फिल्मों के साथ अलविदा कहेगा रीगल सिनेमा

बुधवार, 29 मार्च 2017 (20:08 IST)
नई दिल्ली। कभी दिल्ली की शानोशौकत में चार चांद लगाने वाला रीगल सिनेमा गुरुवार के बाद इतिहास बन जाएगा। 1932 में बना राजधानी का पहला प्राइम सिंगल स्क्रीन थिएटर 'रीगल' अब सिनेप्रेमियों से हमेशा के लिए विदाई ले लेगा। 
 
रीगल सिनेमा हॉल सिनेप्रेमियों के साथ-साथ बॉलीवुड सितारों का भी चहेता हॉल हुआ करता था, खासकर आरके बैनर की फिल्मों का इससे खास लगाव रहा। खुद राजकपूर भी अपनी फिल्मों का प्रीमियर रीगल सिनेमा हॉल में ही करते थे। रीगल सिनेमा में आरके बैनर तले बनी लगभग सभी फिल्में रिलीज हुईं और कई फिल्मों ने यहां सिल्वर जुबली का जश्न भी मनाया। 
 
रीगल अपने दर्शकों से बॉलीवुड के इस शोमैन की फिल्मों के साथ विदाई लेगा। 30 मार्च को सिनेमा हॉल में आखिरी 2 शो राजकपूर के नाम रहेगा। शाम 6 बजे 'मेरा नाम जोकर' और शाम 9 बजे 'संगम' को प्रदर्शित किया जाएगा। 
 
रीगल सिनेमा के सह संचालक विशाल चौधरी ने बताया कि राजकपूर का इस सिनेमाघर से जुड़ाव और दर्शकों की विशेष मांग पर उन्होंने राजकपूर की फिल्मों के साथ अलविदा कहने का मन बनाया। उन्होंने कहा कि राजकपूर और नरगिस की फिल्मों का प्रीमियर इसी सिनेमा हॉल में हुआ करता था। राजकपूर और नरगिस यहां हॉल में बैठकर अपनी फिल्में देखा करते थे। 
 
कपूर खानदान से इस सिनेमा हॉल का रिश्ता पृथ्वीराज कपूर के जमाने से रहा था। विभाजन के बाद पाकिस्तान से आए पृथ्वीराज कपूर के नाटकों का मंचन यहीं हुआ करता था। उनके 3 नाटक पठान, दीवार व आहूति का मंचन यहीं हुआ था।
 
विशाल ने बताया कि उनकी योजना रीगल सिनेमा हॉल को सिंगल स्क्रीन से मल्टीप्लेक्स बनाने की है। मल्टीप्लेक्स बनाने को लेकर एनडीएमसी समेत अन्य विभागों को आवेदन किया गया है, हालांकि अभी पूरी मंजूरी नहीं मिली है। मंजूरी मिलने के बाद इस ऐतिहासिक सिनेमा हॉल को तोड़कर मल्टीप्लेक्स में तब्दील किया जाएगा।
 
उन्होंने कहा कि चूंकि रीगल विरासत इमारत में है तो बाहर से इसमें कुछ छेड़छाड़ नहीं किया जा सकता लेकिन सिनेमाघर को अंदर से तोड़कर नए लुक में पेश किया जाएगा। इस काम में डेढ़ से 2 वर्ष का समय लग सकता है। (वार्ता) 

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