शिवसेना ने यह रुख ऐसे समय में अपनाया है, जब देवेंद्र फडणवीस सरकार किसानों के प्रदर्शन के कारण आलोचनाओं से घिरी है। इस बीच ऐसी खबरें भी आई हैं कि भाजपा समय से पहले विधानसभा चुनाव कराने पर भी विचार कर रही है। महाराष्ट्र में भाजपा की अगुवाई वाली एनडीए सरकार अक्टूबर 2014 में बनी थी।
शिवसेना सांसद संजय राउत ने शुक्रवार को एक मराठी न्यूज चैनल से बातचीत में कहा कि यदि पार्टी सत्ता छोड़ देती है तो उस पर कोई असर नहीं पड़ेगा। राउत ने कहा कि हम कुछ नहीं गंवाएंगे और यदि हम सत्ता छोड़ भी दें तो हम पर इसका कोई असर नहीं पड़ेगा। मध्यावधि चुनाव की सूरत में हम भाजपा से बेहतर तरीके से तैयार हैं। यदि सरकार इससे बचना चाहती है तो उसे किसानों का कर्ज तत्काल पूरी तरह माफ कर देना चाहिए। (भाषा)