सावन माह की अमावस्या, दीपदान से मिलेगा भोलेनाथ का आशीर्वाद, लाल किताब के 3 उपाय जरूर करें

WD Feature Desk

गुरुवार, 24 जुलाई 2025 (14:23 IST)
Deepdan on Sawan Amavasya: आज, 24 जुलाई 2025, गुरुवार को सावन माह की अमावस्या है, जिसे हरियाली अमावस्या के नाम से जाना जाता है। यह दिन प्रकृति की पूजा, पितरों को तर्पण और भगवान शिव की विशेष कृपा प्राप्त करने के लिए अत्यंत शुभ माना जाता है। इस बार तो गुरु पुष्य नक्षत्र का भी दुर्लभ संयोग बन रहा है, जिससे इस दिन का महत्व कई गुना बढ़ गया है। इस पावन अवसर पर दीपदान करना और लाल किताब के कुछ विशेष उपाय करना आपके जीवन से परेशानियों को दूर कर भोलेनाथ का आशीर्वाद दिला सकता है।ALSO READ: हरियाली अमावस्या पर गुरु पुष्य नक्षत्र का संयोग, इन 5 उपायों से दूर होगी धन की परेशानी
 
हरियाली अमावस्या पर दीपदान का महत्व: दीपदान का अर्थ है दीपक जलाकर उसे अर्पित करना। अमावस्या की काली रात में दीपक का प्रकाश अंधकार को दूर कर सकारात्मकता लाता है। 
 
हरियाली अमावस्या पर दीपदान करने से:
- पितृ शांति: दीपदान से पितर प्रसन्न होते हैं और उन्हें शांति मिलती है, जिससे पितृ दोष का निवारण होता है।
- नकारात्मकता का नाश: दीपकों का प्रकाश नकारात्मक ऊर्जा को दूर कर घर में सकारात्मकता का संचार करता है।
- भगवान शिव की कृपा: दीपक को ज्ञान और प्रकाश का प्रतीक माना जाता है। शिवजी को प्रकाश बहुत प्रिय है, इसलिए दीपदान से वे प्रसन्न होते हैं।
- ग्रह दोषों की शांति: विशेषकर शनि और राहु-केतु जैसे ग्रहों के अशुभ प्रभाव कम होते हैं।
 
लाल किताब के 3 अचूक उपाय जो दिलाएंगे भोलेनाथ का आशीर्वाद: 
लाल किताब ज्योतिष की एक प्राचीन और प्रभावी किताब है, जिसके सरल और व्यावहारिक उपायों पर जोर दिया जाता है। हरियाली अमावस्या पर आप ये 3 उपाय कर सकते हैं:ALSO READ: हरियाली अमावस्या पर पुष्य नक्षत्र में लगाएं ये 5 शुभ पौधे और पाएं ये 5 फायदे
 
पीपल के नीचे सरसों के तेल का दीपक और परिक्रमा:
1. उपाय: आज शाम को पीपल के पेड़ के नीचे एक मिट्टी का दीपक जलाएं, जिसमें सरसों का तेल और थोड़ी सी काले तिल डालें। दीपक जलाते समय अपनी मनोकामना मन में दोहराएं। इसके बाद पीपल के पेड़ की सात बार परिक्रमा करें। यदि संभव हो तो 108 परिक्रमा भी कर सकते हैं। 
- यह उपाय विशेष रूप से शनि दोष, पितृ दोष और कालसर्प दोष के प्रभावों को कम करता है। पीपल के वृक्ष में त्रिदेव (ब्रह्मा, विष्णु, महेश) और पितरों का वास माना जाता है। यह उपाय धन संबंधी परेशानियों को दूर कर सुख-समृद्धि लाता है और भोलेनाथ की कृपा दिलाता है।
 
जल में दूध और काले तिल मिलाकर शिवलिंग पर अर्पित करें:
2. उपाय: सुबह या शाम के प्रदोष काल में शिवलिंग पर जल में थोड़ा सा कच्चा दूध और काले तिल मिलाकर अर्पित करें। अभिषेक करते समय 'ॐ नमः शिवाय' मंत्र का निरंतर जाप करें। इसके बाद शिव चालीसा का पाठ करें।
- यह उपाय चंद्रमा और शनि दोनों ग्रहों को शांत करता है। दूध चंद्रमा का और काले तिल शनि का प्रतिनिधित्व करते हैं। यह मानसिक शांति प्रदान करता है, आर्थिक स्थिरता लाता है और जीवन में आने वाली बाधाओं को दूर करता है। यह भोलेनाथ को प्रसन्न करने का एक सरल और प्रभावी तरीका है।ALSO READ: हरियाली अमावस्या के 5 अचूक उपाय, सोए भाग्य को करेगा जागृत
 
किसी गरीब को उड़द दाल और लोहे की वस्तु का दान:
3. उपाय: हरियाली अमावस्या के दिन किसी गरीब या जरूरतमंद व्यक्ति को पकी हुई या कच्ची उड़द की दाल और लोहे की कोई छोटी वस्तु जैसे- तवा, चिमटा दान करें। ध्यान रहे कि दान सच्चे मन से और बिना किसी अपेक्षा के किया जाए।
- यह उपाय शनि देव को प्रसन्न करता है और आपके ऊपर से कर्ज का बोझ कम करने में मदद करता है। शनि न्याय के देवता हैं और अमावस्या तिथि के स्वामी हैं, इसलिए इस दिन किया गया दान त्वरित फल देता है और भोलेनाथ की प्रसन्नता का कारण बनता है।
 
इन उपायों को श्रद्धापूर्वक करने से हरियाली अमावस्या के शुभ दिन पर आप भगवान शिव और पितरों का आशीर्वाद प्राप्त कर सकते हैं, जिससे जीवन की धन संबंधी और अन्य परेशानियां दूर होंगी।
 
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