उमेश पाल हत्याकांड के मोस्टवांटेड असद अहमद और उसके शार्प शूटर गुलाम गुरुवार को UPSTF के हाथों झांसी मुठभेड़ में ढेर हो गए थे। झांसी में 3 डॉक्टरों के पैनल ने 5 घंटे तक वीडियोग्राफी के बीच दोनों शवों का पोस्टमार्टम करा। झांसी से दोनों शवों को प्रयागराज लाया जायेगा, जहां असद के शव को कसारी मसारी में दफन किया जाएगा।
बताया जा रहा है कि असद का शव तीसरे पहर तक प्रयागराज पहुंच जायेगा, शव को दफनाने के लिए कब्र खोदी जा रही है। वही असद के शव को कुछ समय के लिए माफिया अतीक के टूटे पुराने घर में रखा जायेगा और जनाजे की नमाज के बाद कसारी कब्रिस्तान में सुपुर्दे खाक किया जाएगा।
वही असद के पिता माफिया अतीक अहमद, चाचा अरशद, लखनऊ जेल में बंद उसके भाई उमर और नैनी जेल में बंद अली ने अपने छोटे भाई असद के जनाजे में शामिल होने की इच्छा व्यक्त की है, जिसके चलते अतीक पक्ष के वकील दया शंकर कोर्ट में अर्जी देंगे। उम्मीद की जा रही है कि असद के जो दो नाबालिग भाई एहजम और आबान बाल सुधार गृह में रखे गए हैं, वह असद के जनाजे में वह शामिल हो सकते हैं।
झांसी मुठभेड़ में मारे गये गुलाम हसन के पितृपक्ष के लोगों ने शव को लेने से इंकार कर दिया है। गुलाम के भाई राहिल और मां के मुताबिक, उसने समाज में सिर झुका दिया है। सम्मान खत्म कर दिया, इसलिए गुलाम की मां उसका अंतिम बार चेहरा भी नहीं देखना चाहती है। इसलिए उम्मीद की जा रही है कि गुलाम की पत्नी पक्ष के लोग या पुलिस उसके सुपुर्दे खाक करेगी।