रामपुर। अमरोहा बावनखेड़ी की रहने वाली शबनम को जल्दी ही फांसी हो सकती है। सुप्रीम कोर्ट में उसकी पुनर्विचार याचिका खारिज हो चुकी है। यह खबर शबनम को रामपुर जेल में दे दी गई है। मौत के नजदीक आने की आहट सुनकर अपने परिवार के 7 लोगों को मौत के घाट उतारने वाली शबनम अब बेचैन है और उसके व्यवहार में एकाकीपन आने लगा है।
गौरतलब है कि 14 अप्रैल 2008 की रात्रि में शबनम और उसके प्रेमी सलीम ने 7 लोगों को मौत के घाट उतारा था। मरने वालों में शबनम के पिता मास्टर शौकत अली, मां हासमी, भाई अनीस व राशिद, भाभी अंजुम, भतीजा अर्श और फुफेरी बहन राबिया थे।
इस दिल दहलाने देने वाली वारदात को अंजाम देने वाले प्रेमी युगल को कोर्ट ने फांसी की सजा सुनाई है। शबनम की सुप्रीम कोर्ट से पुनर्विचार याचिका खारिज हो चुकी है, लेकिन अभी प्रेमी सलीम की पुनर्विचार याचिका सुप्रीम कोर्ट में विचाराधीन है।
कानूनविदों का कहना है कि सलीम की याचिका को आधार बनाकर शबनम की फांसी का फैसला हाईकोर्ट से टल सकता है। वहीं, शबनम के दो वकीलों ने रामपुर कोर्ट पहुंचकर उसके हस्ताक्षर कराकर फिर से राष्ट्रपति से दया की गुजारिश की है।