* चल रहा है शनि पंचक योग, कष्टकारक रहेगा यह समय...
25 नवंबर 2017, शनिवार की रात्रि 10.05 मिनट से पंचक शुरू हो गया है, जो 30 नवंबर, गुरुवार तक जारी रहेगा। जब भी शनिवार के दिन पंचक आता है तो उसे मृत्यु पंचक के नाम से जाना जाता है। पंचक के अंतर्गत धनिष्ठा, शतभिषा, उत्तरा भाद्रपद, पूर्वा भाद्रपद व रेवती नक्षत्र आते हैं। इन्हीं नक्षत्रों के मेल से बनने वाले विशेष योग को 'पंचक' कहा जाता है।
ज्योतिष शास्त्र में पंचक को शुभ नक्षत्र नहीं माना जाता है। इसे अशुभ और हानिकारक नक्षत्रों का योग माना जाता है। अत: इन दिनों में विशेष संभल कर रहने की आवश्यकता होती है।
ज्ञात हो कि शनिवार से शुरू हुआ पंचक सबसे ज्यादा घातक होता है, क्योंकि इसे मृत्यु पंचक कहा जाता है। ऐसा माना जाता है कि अगर इस दिन किसी भी नए कार्य की शुरुआत की गई तो व्यक्ति को मृत्यु तुल्य कष्टों से गुजरना पड़ता है। इसीलिए शनिवार से शुरू हुए पंचक के दौरान कोई भी जोखिम भरा कार्य करने से बचना चाहिए।
इस दिन कार्य शुरू करने से उस व्यक्ति को चोट अथवा दुर्घटना होने की संभावनाएं प्रबल हो जाती है। यहां तक कि मृत्यु तक की आशंका बनी रहती है, क्योंकि पांच पंचकों में सबसे अधिक कष्टकारक शनि पंचक माना गया है।