उन्होंने बताया, "45 सालों में ये पहला मौका होगा जब मनुष्य अंतरिक्ष की गहराइयों में उतर सकेगा।" हालांकि अभी तक चांद के पास जाने वाले इन दोनों मुसाफिरों की पहचान नहीं जाहिर की गई है। लेकिन वे जिस स्पेसक्राफ्ट से चांद के सफर पर जाएंगे, उसकी पहली बार टेस्टिंग इस साल के आखिर में की जानी है। इस स्पेसक्राफ्ट को पहले चरण में मानवरहित ही अंतरिक्ष में भेजा जाना है।