पाकिस्तान की संघीय जाँच एजेंसी ने 119 कथित चरपंथियों की सूची जारी है जो सरकार को विभिन्न मामलों में वांटेड हैं। इसमें 20 ऐसे चरमपंथियों का नाम शामिल है जिन पर मुंबई हमलावरों की मदद करने का आरोप है, लेकिन इन चरमपंथियों की गिरफ्तारी पर पुरस्कार की रकम नहीं दी गई है।
बीबीसी को मिली ये सूची चारों प्रांतों की पुलिस के खुफिया अधिकारियों की मदद से तैयार की गई है। जिन कथित चरमपंथियों के बारे में इस सूची में जानकारी दी गई है वह इतनी विस्तृत और व्यापक नहीं है।
इस सूची को रेड बुक नाम दिया गया है जिसमें संघीय जाँच एजेंसी और चारों प्रांतों की पुलिस के सबसे अधिक खतरनाक और वांटेड लोगों का विवरण है। इस सूची में 20 ऐसे कथित चरमपंथियों के नाम शामिल हैं जिन पर मुंबई हमलों के लिप्त होने का आरोप है। लेकिन अश्चर्यजनक बात यह है कि उनकी गिरफ्तारी पर पुरस्कार की रकम का कोई उल्लेख नहीं है।
इस सूची के अनुसार मुल्तान के रहने वाले मोहम्मद अजमत खान जिन्होंने कराची में मुंबई हमलावरों की मदद की थी और फैसलाबाद के इफ्तिखार अली जिन्होंने इस्लामाबाद से 250 अमेरिकी डॉलर सेटेलाइट फोन खरीदने के लिए दिए थे।
सूची में पंजाब के शहर बहावलपुर के रहने वाले शाहिद गफूर का नाम शामिल है जो अल-हुसैनी नौका के चालक थे जिसको मुंबई हमलावरों ने इस्तेमाल किया था।
अब्दुल रहमान, मोहम्मद उस्मान, अतीकुर्रहमान, रियाज अहमद, मोहम्मद मुश्ताक, मोहम्मद नईम, अब्दुल शक़ूर, मोहम्मद साबिर सल्फी, मोहम्मद उस्मान और शकील अहमद उस नौका में सवार थे जो मुंबई हमलावरों ने इस्तेमाल की थी।
इसके अनुसार सुफ्यान जफर, मोहम्मद उस्मान जिया, मोहम्मद अब्बास नासिर, जावेद इकबाल, मुख्तियार अहमद और अहमद सईद प्रतिबंधित संगठन लश्करे तैबा को पैसे देते हैं।
पंजाब के अनेक लोग : इन चरमपंथियों में से एक का संबंध पाकिस्तान प्रशासित कश्मीर से है और बाकी पंजाब प्रांत के हैं।
बलूचिस्तान के जिला तुरबत के रहने वाले मोहम्मद खान का नाम भी इस सूची में है। उनके बारे में लिखा गया है कि उन्होंने मुंबई हमलावरों को नौकाएँ दी थीं।
ध्यान रहे कि रेड बुक में शामिल अधिकतर चरमपंथियों का संबंध प्रतिबंधित संगठन लश्करे-झंगवी से बताया गया है। कबाइली इलाकों के चरमपंथियों का नाम इस सूची में नहीं है और न ही तालिबान गुट के किसी नेता का नाम शामिल है।
इस सूची अनुसार पाकिस्तान के पंजाब प्रांत में सबसे अधिक 25 लोग सरकार को वांछित हैं, जबकि दूसरे नंबर पर सिंध प्रांत के 24 और बलूचिस्तान के 18 वांटेड हैं।
लेकिन सबसे अश्चर्यजनक बात यह है कि पश्चिमोत्तर सीमांत प्रांत के केवल 16 लोग वांटेड है हालाँकि ये प्रांत चरमपंथ से सबसे ज्यादा प्रभावित है। सूची में सबसे पहला नाम अटक के इबादुर्रहमान का है।
ध्यान रहे कि हर वांटेड व्यक्ति की तस्वीर, त्वचा का रंग, कद काठी, और किन अपराध में लिप्त हैं जैसी जानकारी इस सूची में दर्ज है। कुछ लोगों के बारे में तो काफी हास्यास्पद जानकारी भी दर्ज है जैसे कि ‘शहरी हुलिया’, ‘बॉडी बिल्डर की तरह’, या फिर ‘तब्लीगी की तरह चलना’, ‘रुक रुक कर’, ‘तेज चलना’ आदि।
कुछ लोगों की दाढ़ी के बारे में लिखा है कि ‘सुन्नत के मुताबिक’, ‘शिया प्रकार की’, ‘कानूनी स्तर की’ या फिर ‘जमाती स्टाइल’ की।
कुछ लोगों की जुबान के बारे में काफी दिलचस्प बातें लिखी गई है। एक के बोलने के अंदाज के बारे में लिखा है, ‘बिहारी लहजा’, एक अन्य व्यक्ति के बारे में है कि ‘वह गैर संजीदा बात करता है’।
कुछ विशेषज्ञों के मुताबिक तेजी से बदलती परिस्थिति में ऐसी किताबों में दर्ज जानकारी बदलती रहती है।