शुरुआत ही बिगड़ जाए तो फिर किसी शो को संभालना मुश्किल हो जाता है। बिग बॉस सीजन 14 के साथ यही हुआ। हर बार 14-15 लोग बिग बॉस के यहां घर-घर खेलने आते थे, लेकिन इस बार 10 चेहरे ही मिले। चेहरे भी ऐसे नहीं थे जिनको लेकर लोगों में उत्सुकता हो।
चलिए, माना कि अनजान चेहरे भी कुछ दिनों में अपने खेल, व्यक्तित्व और हाव-भाव के जरिये अपनी पहचान बना लेते हैं, लेकिन सीजन 14 में ऐसा कोई भी दमदार व्यक्ति नजर ही नहीं आया।
सभी को देख ऐसा लग रहा है कि वे ढेर सारे बिग बॉस के सीजन देख कर आ रहे हैं। कोई खुल कर सामने नहीं आ रहा है। इस कारण शो में नकलीपन और बनावटीपन हाजिर है और शो से दर्शक कनेक्ट नहीं हो पा रहे हैं।
शो में वाइल्ड कार्ड एंट्रीज भी जल्दी दे गई। कविता कौशिक जैसे चेहरों को शो के अंदर भेजा गया, लेकिन ये बासी कढ़ी में उबाल लाने के सिवाय कुछ नहीं था। शो में इनके आने से कोई उछाल नहीं आया।
बिग बॉस शो विवादों और झगड़ों के लिए जाना जाता है। दोस्ती और दुश्मनी के लिए जाना जाता है। प्यार की कलियां भी अंकुरित होती हैं, लेकिन इस बार शो में ऐसा कुछ नहीं देखने को मिल रहा है। शो के मेकर्स तमाम कोशिश में लगे हुए हैं, लेकिन बंजर भूमि पर खेती करने का क्या फायदा।
मजबूरन सलमान का सहारा लेना पड़ रहा है। सप्ताह में दो बार नजर आने वाले सलमान को कई बार तीन दिन तक खींचा जाता है ताकि इस सितारे के बलबूते पर दर्शक शो से चिपके रहे, लेकिन ऐसा नहीं हो पा रहा है। टीआरपी कितनी मिल रही है ये तो पता नहीं क्योंकि अब तो टीआरपी पर से भी यकीन उठ गया है।
आईपीएल की मार भी शो पर पड़ी है। रोजाना रात को साढ़े दस बजे से यह शो शुरू होता है तब आईपीएल में मैच का रोमांच चरम पर होता है, ऐसे में मैच छोड़ कौन बिग बॉस देखना चाहेगा?
शुरुआत बिगड़ चुकी है, देखना ये है कि क्या अब शो रंग में आता है या नहीं?