घबराया पाक, भारत के मिसाइल कार्यक्रम को बताया क्षेत्रीय शांति के लिए खतरा

शुक्रवार, 13 जनवरी 2017 (07:29 IST)
इस्लामाबाद। पाकिस्तान ने गुरुवार को मिसाइल प्रौद्योगिकी नियंत्रण व्यवस्था (एमटीसीआर) के सदस्य देशों को आगाह किया कि दक्षिण एशिया में ‘मिसाइल रक्षा प्रणाली’ और ‘अंतर महाद्वीपीय बैलिस्टिक मिसाइलों’ जैसी विध्वंसकारी प्रणालियों को पेश किए जाने से क्षेत्रीय स्थिरता को खतरा पैदा हुआ है। भारत का स्पष्ट रूप से जिक्र करते हुए यह बात कही गई।
 
पाकिस्तान विदेश कार्यालय के एक बयान में कहा गया है कि दक्षिण एशिया में ऐसी प्रणालियों को पेश किए जाने पर पाकिस्तान गंभीर रूप से चिंतित है। उसने 35 सदस्यीय एलिट समूह एमटीसीआर के एक प्रतिनिधिमंडल से यह विचार जाहिर किया। 
 
इस समूह में भारत भी शामिल है। यह समूह अत्याधुनिक मिसाइल प्रौद्योगिकियों के निर्यात पर नियंत्रण लगाता है। दरअसल, दक्षिण एशिया में भारत एकमात्र ऐसा देश है जिसने अंतर महाद्वीपीय बैलिस्टिक मिसाइल का सफल परीक्षण किया है।
 
पाक विदेश कार्यालय ने कहा कि हालांकि पाकिस्तान दक्षिण एशिया में किसी तरह के हथियारों की दौड़ टालने के प्रति प्रतिबद्ध हैं। पाकिस्तान ने दक्षिण एशिया में सामरिक संयम व्यवस्था (एसआरआर) की स्थापना का प्रस्ताव दिया है, जो परमाणु हथियारों और मिसाइल नियंत्रण वार्ता की मेज पर लाता है। पाकिस्तान का मानना है कि सार्थक वार्ता से इस प्रस्ताव पर प्रगति होगी और क्षेत्र में शांति एवं स्थिरता को बढ़ावा मिलेगा।
 
पाकिस्तान की परमाणु अप्रसार साख का जिक्र करते हुए विदेश कार्यालय की अतिरिक्त सचिव तसनीम असलम ने एमटीसीआर से कहा कि पाकिस्तान जनसंहार के हथियारों के फैलने पर रोक के लिए हमेशा ही आगे रहा है और हथियार प्रदान करने में हमेशा ही अंतरराष्ट्रीय मानदंडों का पालन किया है।
 
भारत इस समूह में पिछले साल शामिल हुआ था। वहीं पाकिस्तान ने भी इसमें और अन्य एलिट समूहों में शामिल होने की कोशिशें तेज कर दी हैं। गौरतलब है कि एमटीसीआर की सदस्यता के लिए चीन का आवेदन 2004 से लंबित है। 

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