2. इसी दिन पैगंबर हज़रत मोहम्मद के नाती हज़रत इमाम हुसैन एक धर्मयुद्ध में शहीद हुए थे।
3. करबला के शहीदों ने इस्लाम धर्म को नया जीवन प्रदान किया था।
4. कई लोग इस माह में पहले 10 दिनों के रोजे रखते हैं।
5. जो लोग 10 दिनों के रोजे नहीं रख पाते, वे 9 और 10 तारीख के रोजे रखते हैं।
6. इस दिन पूरे देश में लोगों की अटूट आस्था का भरपूर समागम देखने को मिलता है।
7. इस दिन जगह-जगह पानी के प्याऊ और शरबत की शबील लगाई जाती है।
8. पैगंबर मुहम्मद सा. के नाती की शहादत तथा करबला के शहीदों के बलिदानों को याद किया जाता हैं।
9. मुहर्रम एक महीना है जिसमें दस दिन इमाम हुसैन के शोक में मनाए जाते हैं।
10. इसी महीने में मुसलमानों के आदरणीय पैगंबर हजरत मुहम्मद साहब, मुस्तफा सल्लाहों अलैह व आलही वसल्लम ने पवित्र मक्का से पवित्र नगर मदीना में हिजरत किया था।
11. मुहर्रम एक महीना है जिसमें दस दिन इमाम हुसैन के शोक में मनाए जाते हैं।